संजय गुप्ता, INDORE. इंदौर के प्रतिष्ठित यशवंत क्लब की मैनेजिंग कमेटी को तगड़ा झटका लगा है। एक क्लब सदस्य की लगाई गई आपत्ति के आधार पर फर्म्स एंड सोसायटी इंदौर असिस्टेंट रजिस्ट्रार ने अभी वर्तमान पंजीकृत नियमों के तहत ही क्लब को चलाने के निर्देश दिए हैं और इसके चलते नवीन सदस्यता के लिए की जा रही कार्रवाई को विधि अनुसार नहीं माना जाएगा। यानी अभी क्लब नए सदस्य नहीं बना सकता है। इसमें क्लब के पदाधिकारियों को जवाब देने के लिए 6 नवंबर की तारीख असिस्टेंट रजिस्ट्रार बीडी कुबेर ने लगाई है।
क्या है पुराने और नए नियम का मुद्दा
यशवंत क्लब के संविधान में स्पेशल मेंबरशिप कैटेगरी से सदस्य बनाए जाने का कोई प्रावधान ही नहीं है। संविधान में संशोधन का प्रस्ताव क्लब ने सोसायटी को भेजा हुआ है, लेकिन वह अभी मंजूर नहीं हुआ है। इसके चलते बिना संशोधन के सदस्यता दिया जाना अवैधानिक है। इसी आधार पर क्लब के एक सदस्य द्वारा यह याचिका लगाई गई थी, जिस पर सोसायटी ने अभी क्लब को पुराने पंजीकृत नियम से ही चलाने का आदेश दिया है।
कई लोगों को बैकडोर से दी है एंट्री
याचिकाकर्ता की ओर से अधिवक्ता अजय मिश्रा ने शिकायत दी है। मिश्रा ने द सूत्र को बताया कि हमने साथ ही विस्तार से बताया है कि यह बैकडोर से पहले ही अधिक उम्रदराज वालों को सदस्यता दे चुके हैं। ताकि मिस द बस योजना के नाम पर जिन्हें सदस्यता दी गई है उनकी महंगी सदस्यता राशि बचाई जा सके। कायदे से उन्हें भी सदस्यता तो इसी स्पेशल मेंबरशिप कैटेगरी से देना थी जिसमें 25 लाख रुपए फीस थी, लेकिन यह बचाने के लिए पहले उन्हें सदस्यता दे दी और अब बिना संविधान संशोधन के यह नया काम शुरू कर दिया।
अपराधी छवि वालों को भी दे रहे हैं सदस्यता
याचिका में यह भी कहा गया है कि जिन्हें नई सदस्यता देने के लिए स्क्रूटनी कर चुना गया है, इसमें कई आपराधिक छवि वाले भी है। इसके बाद भी उनके फार्म भी स्क्रूटनी कमेटी ने पास कर दिए हैं और उन्हें सदस्यता के लिए बुलाया जा रहा है। जबकि कुछ लोगों के अपनी मंशानुसार फार्म हटा दिए गए हैं।
इन सदस्यों को बनाया गया है पार्टी
याचिकाकर्ता ने क्लब के चेयरमैन टोनी सचदेवा, सचिव संजय गोरानी, क्लब के अतुल सेठ, आदित्य उपाध्याय, अनिमेष सोनी, रूपल पारिख, विपिन कूलवाल, नितेश सोनी और संजय जैन को पार्टी बनाया है। इसमें पूरी मैनेजिंग कमेटी को ही नोटिस जारी हुए हैं।
बड़े बिल्डर, अखबार मालिक से लेकर शराब कारोबारी है लिस्ट में
यशवंत क्लब की सदस्यता पाने के लिए जिन सदस्यों को यशवंत क्ल्ब की मैनेजिंग कमेटी ने चुना है इसमें 172 सदस्य है जिसमें अधिकांश शहर के बिल्डर है, कई अखबार मालिक भी शामिल है और कुछ शराब कारोबारी भी लिस्ट में हैं। इसमें से कई लोगों पर गंभीर आरोप है, इसके बाद भी क्लब ने इन्हें चुना है और सदस्यता देने की लिस्ट में शामिल है। इन सभी को 25 लाख रुपए लेकर सदस्यता दी जाएगी, जिसमें जीएसटी अलग देय होगा।