मनीष गोधा, JAIPUR. गहलोत सरकार के समय हुए प्रश्न पत्र लीक मामलों को चुनाव का मुद्दा बनाकर सत्ता में लौटी बीजेपी पिछली सरकार के समय हुई 7 बड़ी परीक्षाओं की जांच करवा रही है। इन मामलों की सीबीआई जांच करवाने के मामले में सरकार ने कहा कि अभी सरकार की ओर से गठित स्पेशल इन्वेस्टिगेशन टीम (SIT) ने जांच शुरू की है और जरूरत पड़ी तो इस बारे में विचार किया जाएगा।
प्रश्न पत्र लीक मामलों को लेकर आरएलपी के विधायक हनुमान बेनीवाल ने सवाल पूछा था। इसका जवाब देते हुए मंत्री गजेंद्र सिंह खींवसर ने कहा कि राज्य में विभिन्न परीक्षाओं में पेपर से संबंधित घटनाओं में लगातार वृद्धि को देखते हुए मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा ने शपथ लेने के अगले दिन ही स्पेशल इन्वेस्टिगेशन टीम (SIT) का गठन कर दिया था। यह टीम पिछली सरकार के समय हुई 7 परीक्षाओं में सामने आए पेपर लीक प्रकरणों की जांच कर रही है।
इन मामलों की हो रही है जांच
- राजस्थान पुलिस कानिस्टेबल भर्ती परीक्षा 2021
- सीएचओ भर्ती परीक्षा 2020
- वरिष्ठ अध्यापक भर्ती परीक्षा 2022
- वरिष्ठ अध्यापक भर्ती परीक्षा 2022
- रीट भर्ती परीक्षा 2021
- कनिष्ठ अभियंता (डिग्री) भर्ती परीक्षा 2020
- हाई कोर्ट लिपिक भर्ती परीक्षा 2020
2014 से अब तक 33 मामले
मंत्री ने बताया कि प्रदेश में 01 जनवरी 2014 से आज तक पेपर लीक के कुल दर्ज 33 प्रकरणों में 615 व्यक्तियों की गिरफ्तारी हुई है और 32 प्रकरणों में चालान पेश किया जा चुका है। 1 प्रकरण में अनुसंधान जारी है। हालांकि इस मामले में जब कांग्रेस विधायक गोविंद सिंह डोटासरा ने यह पूछा कि भाजपा सरकार के समय इनमें से कितने मामले सामने आए थे तो हंगामा हो गया।
हनुमान बेनीवाल ने की सीबीआई जांच की मांग
वहीं आरएलपी विधायक हनुमान बेनीवाल ने जब इन मामलों की सीबीआई जांच की मांग उठाई और कहा कि भारतीय जनता पार्टी ने भी विपक्ष में रहते हुए सीबीआई जांच की मांग की थी। ऐसे में अब सत्ता में आने के बाद सरकार इस दिशा में क्या कर रही है तो सरकार की ओर से बहुत स्पष्ट जवाब नहीं दिया गया। उन्होंने कहा कि सरकार ने 1 महीने पहले ही SIT का गठन कर दिया है, जो पेपर लीक मामलों की जांच कर रही है। SIT की जांच रिपोर्ट आने के बाद और इसकी अनुशंसा के आधार पर सरकार तय करेगी कि कौन कौन सी परीक्षा की जांच कैसे करानी है।