Hisar. हरियाणा में इन दिनों इंडियन नेशनल लोकदल की परिवर्तन यात्रा सिरसा जिले में पहुंची। इस परिवर्तन यात्रा में पहली बार अभय सिंह चौटाला ने अपने पोते उधम सिंह चौटाला को लोगों से मिलवाया। आपको बता दें कि उधम सिंह अर्जुन चौटाला का बेटा है। अभय ने चौटाला गांव में हुई जनसभा में पोते उधम सिंह को मिला और जनता से मिलवाया। मंच पर अभय चौटाला का पूरा परिवार उपस्थित था। जिसमें पत्नी कांता चौटाला, कर्ण चौटाला, उनकी पत्नी, अर्जुन चौटाला और उनकी पत्नी जैसमीन चौटाला थी। अभय ने कहा कि एक दिन उसका पोता विरोधियों को जवाब देगा और हरियाणा की सियासत में नाम कमाएगा। जिसपर जनता ने खूब तालियां बजाई।
शहीद उधम सिंह से प्रेरित होकर रखा नाम
अभय ने अपने पोते उधम सिंह के नाम का के बारे में बताया कि वह महान क्रांतिकारी सरदार उधम सिंह की शहादत से प्रेरित थे। जिन्होंने जलियांवाला बाग कांड को अंजाम देने वाले जनरल डायर को लंदन जाकर गोली मारी थी। इसलिए वे उसकी शहादत से प्रेरित थे।
बहुत पहले तय कर लिया था नाम
अभय सिंह ने कहा कि वह अपने दोनों बेटे कर्ण और अर्जुन में से एक का नाम रखना चाहते थे। परंतु अर्जुन का नाम उनकी माता ने पहले ही तय कर लिया था। इसलिए वे अर्जुन का नाम उधम सिंह नहीं रख पाए। इसके बाद उसने फैसला लिया था कि अब घर में जब भी कोई छोटा बच्चा आएगा तो उसका नाम उधम सिंह रखा जाएगा।
चौधरी देवीलाल 5 पीढ़ी की राजनीति में एंट्री
हरियाणा में चौधरी देवीलाल चौटाला परिवार के पहले सदस्य थे, जो कि देश के उप प्रधानमंत्री और हरियाणा के सीएम के पद तक पहुंचे। उनकी राजनीतिक विरासत को दूसरी पीढ़ी में ओमप्रकाश चौटाला, प्रताप चौटाला और रणजीत चौटाला ने संभाला। दूसरी पीढ़ी में ये ओपी चौटाला हरियाणा के सीएम रहे। जबकि रणजीत चौटाला सांसद और कैबिनेट मिनिस्टर तक पहुंचे। प्रताप चौटाला विधायक ही रहे। दूसरी पीढ़ी में ओपी चौटाला के मुख्यमंत्री बनने पर रणजीत सिंह और प्रताप चौटाला ने अपनी राजनीति परिवार से अलग कर ली। चौटाला परिवार की तीसरी पीढ़ी में अजय और अभय चौटाला के अतिरिक्त आदित्य चौटाला राजनीति कर रहे हैं। अजय राज्यसभा सांसद और विधायक रह चुके हैं। जबकि अभय चौटाला पांच बार विधायक बन चुके हैं। आदित्य चौटाला कोई चुनाव नहीं जीते, परंतु वे हरियाणा कृषि विपणन बोर्ड के चेयरमैन है। चौथी पीढ़ी में अजय सिंह के बेटे हरियाणा के डिप्टी सीएम दुष्यंत चौटाला, दिग्विजय चौटाला है। जबकि अभय सिंह के बेटे कर्ण और अर्जुन चौटाला है। जजपा अलग होने के बाद अब तीसरी और चौथी पीढ़ी के नेता आपस में राजनीतिक संघर्ष कर रहे हैं। पांचवीं पीढ़ी में उधम सिंह चौटाला है। जो पहली बार राजनीतिक मंच पर पहुंचे।