BHOPAL. भोपाल के टीवी पत्रकार बृजेश राजपूत की किताब ऑफ द कैमरा के अंग्रेजी संस्करण पर रविवार, 10 सितंबर को चर्चा हुई। इस मौके पर मध्य प्रदेश के पूर्व सीएम और राज्यसभा सदस्य दिग्विजय सिंह ने कहा कि पत्रकार और नेता का साथ लोकतंत्र को मजबूत बनाता है, लेकिन वर्तमान में दोनों के बीच दूरी आ रही है। इसका कारण बताते हुए उन्होंने कहा कि ये विश्वास की कमी नहीं बल्कि, बौद्धिकता की कमी के कारण ऐसा हो रहा है।
'सिर्फ अटल बिहारी वाजपेई में सेंस ऑफ ह्यूमर था'
दिग्विजय सिंह ने जहां किताब को लेकर बृजेश राजपूत की तारीफ की तो वहीं पत्रकारिता और पत्रकारों को लेकर अपने संबंधों के बारे में खुलकर बताया। उन्होंने कहा कि बीजेपी के नेताओं में सेंस ऑफ ह्यूमर नहीं होता है। अगर बीजेपी नेताओं की बात करें तो सेंस ऑफ ह्यूमर सिर्फ अटल बिहारी वाजपेई में था। इस दौरान दिग्विजय सिंह ने कहा कि वर्तमान राजनीति अब पहले जैसी नहीं रही है। इसमें आपसी संबंधों की मर्यादा टूट-सी गई है।
दिग्विजय सिंह ने सिंधिया की प्रशंसा की
उन्होंने पूर्व सीएम सुंदरलाल पटवा के जमाने को किया याद किया तो वहीं ज्योतिरादित्य सिंधिया की प्रशंसा भी की। उन्होंने कहा कि जहां भी ज्योतिरादित्य सिंधिया रहते हैं। वह वहां ईमानदार रहते हैं, जब कांग्रेस में थे तो कांग्रेस की तरफ से थे, अब बीजेपी में है तो वहां ईमानदारी से हैं।
'धर्म को नहीं मानने वाले मेरी आलोचना करते हैं'
वहीं अपने बयानों और धर्म को लेकर दिग्विजय सिंह ने बेबाकी से कहा कि जो धर्म को नहीं मानते वह मेरी आलोचना करते हैं। कार्यक्रम में पत्रकार रशीद किदवई और क्लब लिट्रराती की प्रमुख सीमा रायजदा ने भी दिग्विजय सिंह से सवाल किए।
उन्होंने पत्रकार ब्रजेश राजपूत की किताब ऑफ द कैमरा में उनके द्वारा लिखी गईं कहानियों को दिलचस्प और शानदार बताया। कार्यक्रम का आयोजन क्लब लिट्रराती और प्रभा खेतान फाउंडेशन द्वारा किया गया। इस अवसर पर भोपाल के कई प्रमुख पत्रकार भी उपस्थित रहे।