SHIVPURI. शिवपुरी में महिलाओं पर आपत्तिजनक टिप्पणी के मामले में पिछोर से कांग्रेस विधायक केपी सिंह कक्काजु के खिलाफ FIR दर्ज की गई है। कांग्रेस विधायक की टिप्पणी के विरोध में बीजेपी महिला मोर्चा ने रैली निकाली और थाने पहुंचकर विधायक के खिलाफ केस दर्ज करवाया। कांग्रेस विधायक केपी सिंह ने पत्नी और बुजुर्ग पति के रिश्ते का उदाहरण देते हुए आपत्तिजनक टिप्पणी की थी।
बीजेपी महिला मोर्चा ने थाने पहुंच दर्ज कराया मामला
कांग्रेस विधायक की आपत्तिजनक टिप्पणी को लेकर बीजेपी महिला मोर्चा की मंडल अध्यक्ष सारिका भार्गव के नेतृत्व में पदाधिकारियों और कार्यकर्ताओं ने रैली निकाली। महिलाओं का कहना है कि भरी सभा में विधायक ने महिला समेत बुजुर्गों का अपमान किया है। बीजेपी जिलाध्यक्ष राजू बाथम ने कहा कि विधायक ने महिलाओं को लेकर अमर्यादित टिप्पणी की थी। महिला मोर्चा ने उनके खिलाफ एफआईआर दर्ज कराई है।
विधायक केपी सिंह की छवि खराब करने की कोशिश : कांग्रेस
इधर, कांग्रेस की महिला कार्यकर्ताओं ने विधायक केपी सिंह कक्काजु के समर्थन में रैली निकालकर पुलिस को ज्ञापन सौंपा। उन्होंने कहा कि विधायक के वीडियो को तोड़-मरोड़ कर पेश किया गया था। ऐसे लोगों पर कार्रवाई होनी चाहिए। इस मामले में विवाद बढ़ने पर कांग्रेस विधायक केपी सिंह कक्काजु माफी मांग चुके हैं। कांग्रेस महिला पिछड़ा वर्ग की जिलाध्यक्ष उषा लोधी ने कहा कि विधायक की छवि को धूमिल करने की कोशिश की जा रही है। वे पिछले 30 सालों से विधायक हैं। उन्होंने क्षेत्र की महिलाओं का हमेशा सम्मान किया है।
कांग्रेस विधायक केपी सिंह दिया था ये विवादित बयान
पिछोर विधायक केपी सिंह कक्काजु ने कार्यकर्ताओं को संबोधित करते हुए कहा था कि- मैं लगातार चुनाव जीत रहा हूं और लगातार जीतने वाले को हार का डर होता है। मेरे पहले भी विधायक-मंत्री रहे हैं और मेरे बाद भी रहेंगे, मैं पहला और आखिरी नहीं हूं। मेरी ऐसी कोई मजबूरी नहीं है कि यहां रहूं। भगवान का दिया सब कुछ है और कोई खतरा भी नहीं है।
इस दौरान उन्होंने जवान और बुजुर्ग का उदाहरण देते हुए कहा कि युवा से कहोगे तो छत से कूद जाएगा, लेकिन बुजुर्ग नहीं। फिर बुढ़ापे में शादी का उदाहरण दिया कि एक बुढ़ापे में ब्याह कर बैठा। फिर पहले तो अच्छो लगते कि नई बहू आ गई। जब बाद में वा बहू के आगे लक्षण होत हैं, वे पड़े हैं बगल में और दूसरो आ रहो है, अब न तो रोक पा रहे और न कछु कर पा रहे। काहे कि खुद के बस की कुछ है नहीं। ऐसे कई लोग मैंने देखा है। इसलिए कहता हूं मान जा बब्बा। बुढ़ापे की उम्र नहीं हैं ब्याह की। जो कर बैठत है वासे पूछो क्या गत हो रही है। न तो खुश हो पा रहा है और न दुखी हो पा रहा है।