RAIPUR. इंदिरा प्रियदर्शिनी बैंक घोटाले की जांच शुरू कर दी गई है। हालांकि अब तक पुलिस ने कोई नई गिरफ्तारी नहीं की है, लेकिन पीड़ितों का ढाई करोड़ वापस लाया गया है। इस मामले में सुनवाई के दौरान कोर्ट ने पुलिस से पूछा है कि जांच को तीन माह यानी 90 दिन से ज्यादा हो गया है। अब तक पुलिस ने पूरक चार्जशीट पेश नहीं की है। कोर्ट ने पुलिस से कहा है कि 20 अक्टूबर तक पूरक चार्जशीट पेश करें या जांच की वर्तमान स्थिति की जानकारी उपलब्ध कराएं। उप महाधिवक्ता संदीप दुबे ने बताया कि शनिवार (7 अक्टूबर) को न्यायिक मजिस्ट्रेट भूपेश बसंत की कोर्ट में सुनवाई हुई है। इसमें कई आरोपी पेश नहीं हुए। उन्हें अगली पेशी में उपस्थित होने के लिए नोटिस जारी किया गया है।
इन्हें बनाया गया है आरोपी
बैंक घोटाले में पुलिस ने पुष्पा शर्मा, सुमन पाठक, कुसुम चौबे, अरुणिमा निगम, पुष्पा बाई, ललित जैन, किरण शर्मा, रीता तिवारी, दुर्गा देवी, संगीता शर्मा, सविता शुक्ला, सरोजनी शर्मा, नीरज जैन और तत्कालीन मैनेजर उमेश सिन्हा को आरोपी बनाया है। एक आरोपी कांति उपाध्याय की मौत हो चुकी है। कोर्ट ने बाकी आरोपियों को कोर्ट में पेश होने का नोटिस जारी किया है। इसमें कुछ लोग कोर्ट में पेश हुए है। कुछ की ओर उनके अधिवक्ता कोर्ट में उपस्थित हुए। आरोपी ललित जैन कोर्ट नहीं पहुंचा। उसे कोर्ट ने अगली पेशी में उपस्थित होने का निर्देश दिया है।
पैसा नहीं लौटा रही कंपनियां, पुलिस ने भेजा नोटिस
आरोपी नीरज जैन ने फर्जी कंपनी बनाकर बैंक घोटाले का पैसा उसमें निवेश किया। फिर उन पैसों से शेयर खरीदा। फायदा मिलने के बाद आरोपी ने शेयर बेच दिया। पुलिस अब उन कंपनियों से पैसा वसूल रही है, जिन्होंने शेयर खरीदे हैं। उन्हें नोटिस जारी किया गया है। 40 में से सिर्फ 6 कंपनियों ने ही पैसा लौटाया है। बाकी पैसा लौटाने में आनाकानी कर रही हैं। पुलिस ने उन्हें फिर से नोटिस जारी किया है।