गंगेश द्विवेदी@ RAIPUR.
छत्तीसगढ़ में विधानसभा चुनाव के बीच बीजापुर में 20 सालों बाद बड़े पैमाने पर नक्सलियों का दहशत नजर आया। हार्डकोर नक्सली नागेश पदम के एनकाउंटर के विरोध में नक्सली संगठन ने आज (26 अक्टूबर) बीजापुर बंद का आहवान किया है। इसका खासा असर सुबह से देखने को मिल रहा है। जिला मुख्यालय की सभी दुकानें बंद हैं। बसों के पहिए भी थम गए हैं।
नक्सलियों के बंद के चलते रायपुर, जगदलपुर, तेलंगाना, महाराष्ट्र और तेलंगाना जाने वाली यात्री बसों के पहिए बीजापुर में थमे है। सभी यात्री बसे दहशत के कारण बस स्टैंड में खड़ी है। अंदरूनी इलाकों में भी यात्री गाड़ियां नहीं चल रही है। जिला मुख्यालय से लेकर जिले के तमाम नगर कस्बों में नक्सली चेतावनी के मद्देनजर आज सुबह से व्यापारिक प्रतिष्ठानें बंद है।
नेशनल हाइवे पर आईडी ब्लास्ट कर आग लगाया
वहीं बीजापुर आने वाली तेलंगाना जाने वाले नेशनल हाइवे पर नक्सलियों ने आइइडी ब्लास्ट करा कर सुबह से मार्ग ब्लॉक कर दिया है। बीजापुर में छत्तीसगढ़-तेलंगाना हाईवे पर बरदेला गांव के पास नक्सलियों ने लकड़ियों का ढेर रखकर आग लगा दी। इसके बाद IED ब्लास्ट किया और फायरिंग शुरू कर दी। जिसके चलते रास्ता जाम हो गया। CRPF के जवान मौके पर पहुंचे और जवाबी कार्रवाई शुरू की। इससे पहले इलाके में दहशत फैलाने के लिए नक्सलियों ने दो पुतले लगाकर हाईवे पर लकड़िया डालकर आग लगा दी थी।
फोर्स ने मार्ग बहाल कराया
जिस जगह नक्सलियों ने आगजनी की वहां से करीब डेढ़ सौ मीटर के फासले पर ही CRPF का कैंप है। घटना की खबर पाते ही करीब दो ढाई सौ जवान मौके के लिए रवाना हो गए। वहां पहुंचकर फोर्स ने मार्ग बहाल कराया लेकिन लोगों को बीजापुर जिला मुख्यालय की ओर जाने को कहा।
पेट्रोलिंग के लिए निकली फोर्स
हालात सामान्य होने पर सीआरपीएफ के जवानों ने मोर्चा संभाल लिया था। उनकी मदद के लिए जिला पुलिस बल भी मौके पर पहुंची थी। जलती हुई लकड़ियों के किनारे किया गया। इसके बाद फोर्स जंगल में पेट्रोलिंग के लिए भी निकल गईं।
कौन है नक्सली नागेश ?
मद्देड़ एरिया कमेटी प्रभारी आठ लाख रुपए के इनामी डीव्हीसीएम नागेश पदम बेहद खतरनाक लाल लड़ाका था। उस पर 108 मामलों में वारंट थे। पुलिस उसे चाहकर भी पकड़ नहीं पा रही थी। बताया जा रहा है कि जंगलों में नागेश की तूती बोलती थी और वह बेहद खूंखार था। उसके काम को देखते हुए नक्सल संगठन में उसे मद्देड़ एरिया कमेटी प्रभारी बनाया गया था। वह पुलिस के ऊपर हुए कई बड़े हमलों में शामिल था। उस पर आठ लाख रुपए का इनाम घोषित किया गया था। आधुनिक हथियार चलाने में माहिर था। मुठभेड़ के वक्त भी नागेश के पास से एके-47 बरामद की गई थी। माना जा रहा है कि यह एके-47 किसी नक्सली हमले के बाद जवानों से ही लूटी गई होगी। एसपी आंजनेय वार्ष्णेय के मुताबिक नागेश क्षेत्र में 1996 से माओवादियों के बड़े कैडर के साथ सक्रिय रहा। पामेड़ के रासपल्ली का निवासी था।