BILASPUR.चुनाव से पहले सियासी दलों की सामाजिक गोलबंदी थमने का नाम नहीं ले रही है। अलग-अलग समाज आगामी चुनाव में अपनी भागीदारी को लेकर लामबंद नजर आ रहे हैं। इसी कड़ी में बिलासपुर जिला साहू समाज ने अब अपनी सामाजिक भागीदारी को लेकर मोर्चा खोल दिया है। साहू समाज का कहना है कि, जिले में साहू समाज का अच्छा खासा दखल है। समाज से करीब दो लाख मतदाता है। ऐसे में जिले के 6 विधानसभा सीटों में से एक सीट पर साहू समाज की भागीदारी जरूरी है।
बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष अरुण साव भी साहू समाज से आते हैं
साहू समाज इसके लिए कांग्रेस, बीजेपी दोनों राष्ट्रीय दलों से एक सीट पर साहू प्रत्याशी की मांग कर रहा है। उनका कहना है, जिले में साहू समाज के दखल को देखते हुए उन्हें नजर अंदाज करना किसी भी राजनीतिक दल के लिए ठीक नहीं है। साहू समाज ने मांगों को नजरअंदाज करने पर राजनीतिक दलों को इसका परिणाम भुगतने की भी चेतावनी दी है। बीजेपी के प्रदेश अध्यक्ष अरुण साव साहू समाज से आते हैं, उन्हें बीजेपी ने जिले से टिकट दिया है, ऐसे में समाज का ऐसा रवैया समझ से परे है।
बीजेपी महिला मतदाताओं को साधने में लगी है
इधर विधानसभा चुनाव में महिलाओं को साधने बीजेपी ने नई सियासी रणनीति पर काम शुरू कर दिया है। नारी शक्ति वंदन कार्यक्रम के जरिए बीजेपी महिला मतदाताओं को साधने में लगी है। बीजेपी इसके जरिए राज्य सरकार के वादाखिलाफी और केंद्र सरकार की उपलब्धियों को महिला मतदाताओं के बीच रख रही है। इसके साथ ही बीजेपी का फोकस बिलासपुर जिले के सभी 6 विधानसभा सीट की महिला मतदाताओं पर है।
केंद्र सरकार ने 33% आरक्षण देकर महिलाओं को मजबूत किया
बीजेपी महिला मोर्चा के पदाधिकारियों और कार्यकर्ताओं का कहना है कि, राज्य और केंद्र सरकार में महिलाओं को लेकर अलग-अलग मापदंड हैं। एक तरफ जहां केंद्र सरकार महिलाओं को 33 प्रतिशत आरक्षण देकर उन्हें मजबूत करने का काम कर रही है, वहीं राज्य सरकार महिलाओं से किए अपने वायदे तक पूरा नहीं कर पा रही है। प्रदेश में लगातार महिला अपराध के मामले बढ़ रहे हैं। महिलाओं पर अत्याचार हो रहा है। पूर्ण शराबबंदी का वायदा कर सरकार उसे पूरा नहीं कर रही है। ऐसे में इस बार जिले की महिलाएं महिला हितैषी सरकार, बीजेपी सरकार के साथ जाएंगी।