BHOPAL. एमपी में आज मंत्रियों को विभागों का बंटवारा हो सकता है। सीएम डॉ. मोहन यादव शुक्रवार को दिल्ली पहुंचे और केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह और बीजेपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा से मिले। इसके बाद दिल्ली में ही रात्रि विश्राम किया। बताते हैं घने कोहरे के कारण उनका विमान उड़ान नहीं भर सका। इसलिए सीएम शनिवार को भोपाल लौटेंगे।
-
सीएम मोहन यादव सुबह 11 बजे दिल्ली से भोपाल आएंगे। इसके बाद मंत्रियों के विभागों का बंटवारा करेंगे।
-
दोपहर 1 बजे परिवार के साथ नया साल मनाने खंडवा जिले के हनुवंतिया जाएंगे। इस दौरान सीएम हनुवंतिया के स्थानीय कार्यक्रमों में हिस्सा लेंगे।
-
शाम पांच बजे हनुवंतिया से सिंगाजी पहुंचकर पूजन करेंगे और रात्रि विश्राम हनुवंतिया में ही करेंगे।
उज्जैन में हो सकती है मंत्रिमंडल की बैठक
सूत्र बताते हैं कि सीएम के आज भोपाल लौटने के बाद कभी भी मंत्रियों को विभाग बंटे जा सकते हैं। इसके बाद मंत्रिमंडल की बैठक उज्जैन में होने की संभावना जताई जा रही है। एम डॉ. मोहन यादव गुरुवार, 28 दिसंबर की रात प्राइवेट विमान से दिल्ली के लिए रवाना हुए थे। इससे पहले सीएम ने मंत्रियों को विभाग बंटवारे को लेकर यह नहीं बताया था कि कब विभागों का बंटवारा होगा। सिर्फ इतना कहा कि जब मंत्री बना दिए तो विभग भी बांट दिए जाएंगे।
शाह पहली जनवरी को भोपाल आ सकते हैं
जानकारी के अनुसार सीएम डॉ. मोहन यादव शुक्रवार सुबह केंद्रीय मंत्री अमित शाह से मिलने पहुंचे थे। इस दौरान उन्होंने शाह को मध्यप्रदेश में 1 जनवरी 2024 को साइबर तहसील व्यवस्था के लोकार्पण के लिए आमंत्रित किया। सीएम यादव ने बताया, 'बीजेपी के संकल्प पत्र 2023 में साइबर तहसील की अवधारणा लागू करने का वादा किया गया था। इस व्यवस्था में अलग आवेदन किए बिना रजिस्ट्री के 15 दिन की समय-सीमा में खरीदार के पक्ष में नामांतरण किया जा सकेगा। खसरा-नक्शा में भी तुरंत सुधार हो सकेगा।'
सिंघार का तंज- दिल्ली का इंजन ही चलता दिख रहा
मोहन सरकार के मंत्रिमंडल का विस्तार होने के पांच दिन बाद भी मंत्रियों के विभागों का बंटवारा नहीं होने से कांग्रेस को तंज का मौका मिल गया है। नेता प्रतिपक्ष उमंग सिंघार ने गुरुवार को सोशल मीडिया पर लिखा था, 'CM के चयन का फैसला 10 दिन में, मंत्रिमंडल का फैसला 12 दिन में, अब विभागों के बंटवारे में देरी और खींचतान जारी है।' उन्होंने लिखा था, 'आखिर प्रदेश के नए नवेले मुख्यमंत्री को कोई अधिकार दिया भी गया है कि नहीं, या सारे फरमान दिल्ली दरबार से जारी हो रहे हैं। डबल इंजन की सरकार में दिल्ली का इंजन ही चलता दिखाई दे रहा है।'
यहा बता दें, मोहन मंत्रिमंडल का विस्तार 25 दिसंबर को हुआ था। जिसमे 28 मंत्रियों ने शपथ ली थी।
मध्यप्रदेश में सुस्ताशन का आरंभ- सिंघार
नेता प्रतिपक्ष सिंघार ने X पोस्ट पर लिखा- बीजेपी की लेटलतीफी से शासन व्यवस्था ठप पड़ी है। जो सरकार विभागों की खींचातानी में लगी हो, वो जनता को कैसे संभालेगी। जनता परेशान है कि अपनी समस्याओं के समाधान के लिए किन मंत्रियों के पास जाए? अब जनता मंत्रियों की तरह अपने कार्यों के लिए दिल्ली तो नहीं जा सकती। अब एक बड़ा सवाल। सरकार कौन चलाएगा? मध्यप्रदेश में सुस्ताशन का आरंभ..।
15 दिन बीते डिप्टी CM के पास भी कोई विभाग नहीं
मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव के साथ 13 दिसंबर को शपथ लेने वाले दोनों डिप्टी CM राजेंद्र शुक्ल और जगदीश देवड़ा को भी पद संभाले 15 दिन बीत चुके हैं। उनके पास फिलहाल कोई विभाग नहीं है।
...यहां भी असमंजस
मंत्रियों को विभागों का बंटवारा न होने से अफसरों में भी असमंजस का माहौल है। चुनाव हार चुके पूर्व मंत्रियों और इस बार मंत्री न बनने वाले विधायकों के स्टाफ में पदस्थ अधिकारी-कर्मचारी नए मंत्रियों के यहां जगह बनाने की कोशिश में लगे हुए हैं।
जानें कब क्या हुआ?
- 3 दिसंबर: विधानसभा चुनाव के नतीजे आए।
- 11 दिसंबर: 8 दिन बाद 11 दिसंबर को मुख्यमंत्री और दो उपमुख्यमंत्री का चयन किया गया।
- 13 दिसंबर: सीएम और दोनों डिप्टी सीएम ने शपथ ली।
- 25 दिसंबर: मंत्रिमंडल विस्तार हुआ। 28 मंत्रियों को शपथ दिलाई गई।