JABALPUR. बीते करीब एक हफ्ते से महाराष्ट्र के बीजेपी अल्पसंख्यक मोर्चा की पदाधिकारी सना खान की हत्या पर से पुलिस ने पर्दा तो हटा दिया है, लेकिन उसकी लाश बरामद न हो पाने के चलते पुलिस के सामने आरोपी को जेल की सलाखों के पीछे पहुंचाने में काफी मुश्किलें हो सकती हैं। पुलिस का मानना है कि पूछताछ में अमित ने बताया है कि उसने 2 अगस्त को ही सना का कत्ल कर दिया था और उसी दिन लाश को हिरन नदी में फेंका था। उस वक्त नदी उफान पर थी, ऐसे में सना की लाश को ढूंढ पाना बेहद मुश्किल काम है। पूछताछ में अमित साहू उर्फ पप्पू ने यह भी खुलासा किया है सना ने उसे उसके होटल की पार्टनरशिप के लिए 50 लाख रुपए दिए थे। इसी पैसों के विवाद के कारण बात बढ़ी और नौबत हत्या तक आ पहुंची थी।
रॉड मारकर की थी हत्या
आरोपी अमित साहू उर्फ पप्पू ने पुलिस को बताया कि सना घर पहुंचकर काफी ज्यादा विवाद कर रही थी, जिसके बाद उसने लोहे की रॉड से उसके सिर पर वार करके उसे मौत के घाट उतार दिया था। फिलहाल नागपुर पुलिस आरोपी को रिमांड पर लेकर रवाना हो चुकी है। आज उसे दोबारा जबलपुर लाया गया और उसके ढाबे पर ले जाया गया।
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लाश खोजने में यह मुश्किल
दरअसल हिरण नदी नर्मदा में मिलती है, और हिरन नदी के साथ-साथ नर्मदा की अथाह जलराशि में एक लाश को ढूंढना काफी मुश्किल है। यदि लाश उतराते हुए ऊपर आई भी होगी तो भी काफी ज्यादा समय बीत चुका है। 2 अगस्त के वक्त नदियों में जितना तेज बहाव था ऐसे में कहा नहीं जा सकता कि लाश बहकर कहां तक पहुंच चुकी होगी। लाश बरामद न होने के चलते पुलिस के सामने भी बड़ी चुनौती खड़ी हो चुकी है।
पैसे वापस लेने आई थी सना
एडीशनल एसपी कमल मौर्य ने बताया कि सना ने अमित उर्फ पप्पू से शादी की थी, वह उसके होटल में पार्टनरशिप भी चाहती थी, जिसके लिए उसने अमित को 50 लाख रुपए दिए थे। सना ने अपनी मां मेहरुन्निसा से बताया था कि अमित गुस्से में है और वह उसे मना लेगी। हालांकि मां को होटल की पार्टनरशिप के लिए 50 लाख रुपए देने की बात पर ऐतराज था। उसने उसे पैसे वापस लेने कहा था।
कैसे हुई मुलाकात, 3 मोबाइल और 10 सिम का क्या है राज?
इधर पुलिस अमित साहू से यह जानने का प्रयास कर रही है कि आखिर नागपुर में रहने वाली सना खान से उसकी मुलाकात कैसे हुई? वहीं पूछताछ में यह भी पता चला है कि सना अपने साथ 3 मोबाइल और 10 सिम रखती थी। लेकिन पुलिस अभी तक वे फोन बरामद नहीं कर पाई है। जिनकी पुलिस को तलाश है।
तेजी से आगे बढ़ रहा था सना का नाम
बताया जाता है कि महाराष्ट्र में सना ने 10 साल पहले पॉलिटिक्स ज्वाइन की थी। बीते 4 सालों में उसका नागपुर में कद तेजी से बढ़ रहा था। साल भर पहले तक तो वह साधारण कार्यकर्ता थी लेकिन हाल में पदाधिकारी बनने के बाद उसकी पहुंच उप मुख्यमंत्री देवेंद्र फणनवीस और केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी तक हो चुकी थी। सना के पिता थोक व्यापारी हैं तो वहीं मां मेहरुन्निसा कांग्रेस की कार्यकर्ता और सामाजिक कार्यकर्ता हैं।
आरोपी अमित की पहली बीवी थी पुलिसकर्मी
वहीं दूसरी तरफ आरोपी अमित साहू पप्पू ने कुछ साल पहले महिला पुलिस कर्मी से विवाह किया था, लेकिन वह पप्पू के अवैध धंधों से परेशान होकर उससे अलग हो गई। पूछताछ में यह पता चला है कि एक बार अमित की पहली पत्नी ने ही पुलिस को सूचना देकर लाखों रुपए की अवैध शराब पकड़वा दी थी। जिसे बेचने का काम अमित करता था।