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लोकसभा चुनाव में INDIA गठबंधन को मिली सफलता के बाद कांग्रेस फिर खुद को खड़ा करने में जुटी है। खासकर मप्र में जो कांग्रेस का सूपड़ा साफ हुआ है, इसके लिए आलाकमान भारी चिंता में है।
इसके लिए अब जिले में केंद्र से ही आब्जर्वर भेजकर 100 दिन की रणनीति पर काम शुरू किया गया है। इस बैठक में साफ कर दिया गया कि जो काम नहीं करना चाहते, वह घर बैठें। पार्टी भी उन्हें बाय-बाय कर देगी।
यह दो आर्ब्जवर आए इंदौर
इंदौर में शनिवार ( 22 जून ) को दिल्ली से आए कांग्रेस के दो आब्जर्वर ने कांग्रेस संगठन की बैठक ली। इस बैठक में इंदौर कांग्रेस के 65 से 70 नेता और पदाधिकारी ही बुलाए गए थे। बताया जा रहा है कि यह बैठक इंदौर में खत्म हो चुकी कांग्रेस को फिर से जिंदा करने के लिए हुई थी।
बैठक में दिल्ली से आए आर्ब्जवर निमिश शाह और अवनीश भार्गव के साथ ही इंदौर के प्रभारी और पूर्व विधायक रवि जोशी और सज्जन सिंह वर्मा, शहराध्यक्ष सुरजीत सिंह चड्ढा शामिल हुए थे।
इन बातों पर रहा फोकस
बैठक में इंदौर के प्रभारी और पूर्व विधायक रवि जोशी ने कहा कि जो काम करना चाहते है, वह ही लोग संगठन में रहेंगे। बैठक में निगम में चल रहे भष्ट्राचार के खिलाफ रणनीति बना कर चरणबद्ध तरीके से बड़े 3 से 4 आंदोलन करने की योजना भी बनी।
दोनों आर्ब्जवर निमिश शाह और अवनीश भार्गव ने साफ कर दिया है कि जितने भी राष्ट्रीय और स्थानीय मुद्दे हैं, जैसे नगर निगम बिल घोटाले इसे लेकर लगातार आंदोलन हो। अगले दो माह में तीन बड़े आंदोलन किए जाए।
बैठक में कांग्रेस के इंदौर संगठन के प्रभारी पूर्व विधायक रवि जोशी ने वहां पर मौजूद नेताओं से कहा अब संगठन में वही व्यक्ति रहेगा, जो काम करना चाहता हैं। बिना काम के संगठन में किसी के लिए कोई जगह नहीं हैं।