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मध्य प्रदेश नर्सिंग कॉलेज घोटाले में एक और बड़ा एक्शन लिया गया है। मध्य प्रदेश नर्सिंग रजिस्ट्रेशन काउंसिल की तत्कालीन रजिस्ट्रार चंद्रकला दिवगैया को बर्खास्त कर दिया गया है। चंद्रकला फिलहाल दतिया नर्सिंग कॉलेज में प्रोफेसर के पद पर पदस्थ थीं।
चंद्रकला पर यह कार्रवाई अपात्र नर्सिंग कॉलेजों को दी गई मान्यता में अनियमितताओं को लेकर की गई है। उनके कार्यकाल में कॉलेजों को मान्यता देने में अनियमितताएं की गई। ( Nursing College Scam )
दिवगैया के कार्यकाल में 219 कॉलेजों को मान्यता
तत्कालीन रजिस्ट्रार चंद्रकला दिवगैया के कार्यकाल में ही मध्यप्रदेश में 219 नए नर्सिंग कॉलेजों को मान्यता दी गई थी। एनएसयूआई नेता रवि परमार ने कहा कि ये फर्जी नर्सिंग कॉलेज थे। जिसकी हम लगातार शिकायत कर रहे थे, लेकिन तत्कालीन चिकित्सा शिक्षा मंत्री और अधिकारियों ने उनको संरक्षण दिया हुआ था।
इससे पहले सुनीता पर हुई थी कार्रवाई
तीन दिन पहले मध्यप्रदेश रजिस्ट्रेशन नर्सिंग काउंसलिंग की तत्कालीन रजिस्ट्रार सुनीता शिजू को सेवा से बर्खास्त कर दिया गया था। शुक्रवार, 21 जून को गांधी मेडिकल कॉलेज के मुख्य कार्यपालन अधिकारी ने उनकी बर्खास्तगी के आदेश जारी किए गए थे। इससे पहले उन्हें सस्पेंड किया गया था और इनके मूल पद स्टॉफ नर्स पर वापसी हुई थी। वर्तमान में स्टाफ नर्स सुनीता शिजू को चिकित्सा कॉलेज दतिया में पदस्थ थीं।
नियमों को ताक पर रख कॉलेजों को दी मान्यता
दरअसल, गांधी मेडिकल कॉलेज में पदस्थ स्टॉफ नर्स सुनीता शिजू को मप्र नर्सिंग रजिस्ट्रेशन काउंसिलिंग का रजिस्ट्रार बना दिया गया था। रजिस्ट्रार के कार्यकाल 22 सितंबर 2021 से 24 अगस्त 2022 के दौरान सुनीता शिजू ने नियमों को ताक पर रखते हुए नर्सिंग कॉलेजों को मान्यता दे दी। इस मामले में हाईकोर्ट में लगाई गई याचिका पर सुनवाई हुई जिसके बाद शासन ने सुनीता शिजू को सस्पेंड करते हुए रजिस्ट्रार के पद से हटा दिया था।
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