बालिका गृह से भागी नाबालिग को पता थी बॉयफ्रेंड की पूरी प्लानिंग, सहेलियों से कहा था- प्रेमी आकर इस कैद से भगा ले जाएगा

वन स्टॉप सेंटर से निकलने के बाद अरुण और उसकी नाबालिग प्रेमिका दोनों मुरैना पहुंचे थे। यहां उनका रुकने का प्लान था, लेकिन पुलिस ने ताबड़तोड़ एक्शन लिया और एक-एक कर सभी दोस्तों को पकड़ लिया।

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Pratibha ranaa
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बालिका गृह
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ग्वालियर में बालिका गृह से 17 साल की नाबालिग को भगा ले जाने के मामले में अब नया खुलासा हुआ है। नाबालिग ने बालिका गृह की लड़कियों को पहले ही बता दिया था कि मेरा बॉयफ्रेंड मुझे भगा ले जाएगा। उनसे कहा था कि मैं गुरु पूर्णिमा (21 जुलाई) तक यहां नहीं रुकुंगी। 

बता दें, 20 जुलाई को 6 युवक कैंपस में पीछे बनी 4 फीट ऊंची दीवार फांदकर अंदर घुसे थे। उन्होंने गार्ड रूम में टेबल पर रखी चाबी डंडे के जरिए खिड़की से बाहर खींची और जिससे चैनल का लॉक खोला। फिर लड़की को अपने साथ भगा ले गए थे। 
पुलिस ने अब तक इस मामले में पांच आरोपियों को पकड़ा हैं। इनमें से तीन बालिक है। पकड़े गए आरोपियों में 21 साल की करण जाटव, 20 वर्षीय सूरज माहौर, 19 वर्षीय सौरव कुशवाहा जबकि दो अन्य आरोपियों की उम्र 16 साल व 17 साल है।

बॉयफ्रेंड निकला मुख्य आरोपी

जांच- पड़ताल में पुलिस को पता चला कि बालिका गृह से लड़की को भगाने वाला उसका बॉयफ्रेंड था। लड़की को भगाकर ले जाने की पूरी प्लानिंग उसके बॉयफ्रेंड अरुण ने की थी। 

पुलिस दोनों की तलाश में जुट गई थी। जांच में पता चला कि वह थाटीपुर थाना क्षेत्र की रहने वाली है। कुछ दिन पहले वह लापता हुई थी, तो उसे भोपाल से बरामद किया गया था।

जबकि लड़की को भगाने वाला मुरार के सुरैयापुरा का रहने वाला अरुण माहौर था। इसका पता चलते ही पुलिस ने उसके साथियों की जानकारी जुटाई तो एक संदेही हाथ लगा। जिसके बाद एक-एक कर पांच आरोपियों को पुलिस ने पकड़ा है। जिसने पूरी घटना का खुलासा कर दिया।

जानिए पूरा मामला...

ग्वालियर कंपू स्थित वन स्टॉप सेंटर परिसर में बालिका गृह से 16 वर्षीय नाबालिग अचानक गायब हो गई थी। ये लड़की 7 जून से बालिका गृह में रह रही थी। इसके सीसीटीवी फुटेज भी सामने आए थे। इसमें 6 युवक फिल्मी स्टाइल में चैनल का ताला खोलकर अंदर घुसे और आवाज लगाकर नाबालिग को जगाया, फिर उसे साथ लेकर चैनल से भाग निकले।

डंडे की मदद से खिड़की से निकाली चाबी

जानकारी के मुताबिक 20 जुलाई को आधी रात को स्टॉप सेंटर के पीछे बालिका गृह की तरफ दीवार की ऊंचाई करीब 4 फीट है। यहां से 6 युवक वन स्टॉप सेंटर में एंटर होते हैं। वह टेबल पर रखी बालिका गृह की चाबी को डंडे की मदद से खिड़की से बाहर निकालते हैं। फिर 4 युवक बालिका गृह का चैनल गेट खोलकर अंदर घुस जाते हैं, जबकि 2 युवक बाहर पहरा देते रहे। 

तगड़ी सिक्योरिटी के बाद भी हुआ बड़ा कांड

चार युवक बालिका गृह के हर कमरे में जाकर नाबालिग को ढूंढते हैं। नाबालिग तीसरे कमरे में सो रही होती है। युवक उसे पहले जगाते हैं और फिर अपने साथ बाहर ले आते हैं। इसका वीडियो भी सामने आया है, जिसमें नाबालिग युवक का हाथ पकड़ते हुए दिख रही है। इसे देखकर ऐसा लग रहा है, जैसे नाबालिग इस सबके बारे में पहले से ही जानती थी और वह युवकों से भी पहले से ही परिचित थी। सभी लोग बालिका गृह के पीछे वाले गेट से भाग गए।

नाबालिग को छह युवक लेकर भाग गए, लेकिन महिला गार्ड सोती रही। बताया जा रहा है कि वन स्टॉप सेंटर के आगे वाले गेट पर दो महिला सहित तीन गार्ड तैनात थे उनको भनक तक नहीं लगी। 

प्रेम- प्रसंग का था मामला

अगले दिन सुबह जब महिला गार्ड की नींद खुली, तो उन्हें चैनल का गेट खुला मिला। उसके टेबल से चाबी गायब थी। उसने अंदर हर कमरे में जाकर लड़कियों को चैक किया तो उसे एक लड़की गायब मिली। उसने तत्काल कंपू थाना पुलिस को इस घटना की जानकारी दी। जांच- पड़ताल में पुलिस को पता चला कि लड़की पहले भी दो बार अपने घर से भाग चुकी है। ऐसे में पुलिस को संदेह है कि युवकों में उसका प्रेमी और उनके साथी होंगे।

बता दें, ग्वालियर के कंपू स्थित वन स्टॉप सेंटर में बालिका गृह है। जिसका संचालक महिला बाल विकास के अधीन मां कैलादेवी संस्था करती है। बालिका गृह में 7 जून को एक 17 वर्षीय नाबालिग को कोर्ट के आदेश पर भेजा गया था। नाबालिग सहित बालिका गृह में 24 लड़कियां अभी थीं। 

pratibha rana

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