इंदौर नगर निगम और जिला प्रशासन की पार्किंग को लेकर चल रही मुहिम को एक और तगड़ा झटका लगा है। लक्ष्मी नावेल्टी मार्केट की बेसमेंट की 12 दुकानों को तीन दिन में खाली करने और पार्किंग में बदलने के नोटिस पर लगी याचिका में हाईकोर्ट ने कार्रवाई पर रोक लगा दी है।
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हाईकोर्ट ने कहा संयुक्त निरीक्षण किया जाए
हाईकोर्ट में याचिकाकर्ता महिमा मोरियानी की ओर से अधिवक्ता विभोर खंडेलवाल ने तर्क रखे। साथ में जयेश गुरनानी थे। हाईकोर्ट में याचिकाकर्ता की ओर से कहा गया कि स्टोर रूम के रूप में इन दुकानों को मंजूरी मिली हुई और नक्शे के अनुसार ही इसका उपयोग हो रहा है। निगम ने तीन दिन का नोटिस दिया। इस पर हाईकोर्ट ने आदेश दिए कि अभी किसी तरह की बलपूर्वक कार्रवाई ( कोरेसिव एक्शन ) नहीं की जाए। संयुक्त रूप से निरीक्षण किया जाए, जिसमें निगम के अधिकारी व संपत्ति मालिक दोनों ही मौके पर मौजूद रहेंगे।
इन दुकानों को दिया गया था नोटिस
दुकान नंबर बी1/1, बी1/2, बी1/3, बी1/4, बी1/5, बी1/6, बी1/6A, बी1/21, बी1/22, बी1/23 बी1/24, बी 1/25 , बी1/26 मामले में यह आदेश जारी हुए हैं।
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इसके पहले भी पाकीजा को भी मिला स्टे
इसके पहले दो अन्य मामले में भी निगम की कार्रवाई पर संबंधित पक्षकार को स्टे मिल गया। रीगल तिराहे पर पूरी तरह से अवैध तरीके से चल रही पाकीजा मल्टी को भी बेसमेंट के उपयोग पर स्टे मिल गया और इसमें तो खुद निगम के अधिवक्ता ने ही समय मांग लिया। एक महीने क समय मिल गया। फिर द सूत्र ने मुद्दा उठाया और खेल का खुलासा किया तब निगमायुक्त शिवम वर्मा ने इसे लेकर जांच कराई और पाकीजा की नपती हुई तो कई सारी खामियां, संपत्तिकर चोरी जैसे गंभीर मामले सामने आए, इसके बाद फिर दस दिन में इन अवैध निर्माण को हटाने का नोटिस दिया हुआ है।
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