बीआरटीएस कॉरिडोर पर एलिवेटेड ब्रिज बनेगा या नहीं इसके लिए नया सर्वे, एक रिपोर्ट में इस ब्रिज को बताया बेतमतलब का खर्चा

सीएम मोहन यादव ने इस ब्रिज के लिए 17 जनवरी को इंदौर में आधारशिला रखी थी। इसके बाद दो मार्च से काम शुरू करने की बात कही गई थी। निर्माण एजेंसी ने कॉरिडोर के 5 से 6 स्थानों पर सॉइल टेस्टिंग (मृदा परिक्षण) शुरू कर दी थी। 

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Pratibha ranaa
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संजय गुप्ता@ INDORE.

इंदौर में बीआरटीएस कॉरिडोर ( BRTS corridor ) पर बनने वाले 6.70 किमी लंबे एलिवेटेड ब्रिज के काम में पेंच फंस गया है। सीएम डॉ. मोहन यादव ने भले ही 17 जनवरी को इसकी आधारशिला रख दी और घोषणा भी हो गई कि इसे दो साल में पूरा कर लिया जाएगा, लेकिन अभी तो यह बनेगा या नहीं इसी की उलझन हो गई है। कारण है कि एक सर्वे में इस ब्रिज को बेमतलब का खर्चा बताया गया है। कहा गया है कि इससे ट्रैफिक में कोई राहत नहीं मिलेगी। अब कलेक्टर आशीष सिंह इसकी सही उपयोगिता को परखने के लिए नया सर्वे करा रहे हैं। इस रिपोर्ट के बाद ही मुहर लगेगी कि इसे बनाना भी या नहीं। 

क्या बोल रही है सर्वे रिपोर्ट

इस ब्रिज के लिए एक सर्वे रिपोर्ट में आया है कि इस ब्रिज से जो वाहन चलेगा चढ़ेगा और दूसरी अंतिम भुजा पर उतरेगा, वह प्रतिशत दस फीसदी से भी कम है। क्योंकि पूरे कॉरिडोर में एक भुजा से दूसरी ओर तक जाने वाले वाहन चालक कम है और 90 फीसदी से ज्यादा ट्रैफिक तो अन्य चौराहों से जैसे इंडस्ट्री हाउस तिराहा, पलासिया चौराहा, गीताभवन चौराहा, शिवाजी वाटिका से कट जाता है।

अन्य निजी कंपनी पक्ष में

वहीं एक अन्य निजी कंपनी ने अधिकारियों के साथ बैठक में बताया कि यह ब्रिज इंदौर के भविष्य में ट्रैफिक सुधार के लिए बहुत ही जरूरी है। इसका उपयोग समय के साथ तेजी से बढ़ेगा। इसके बाद इस कंपनी को पूरी सर्वे रिपोर्ट वाहन चालकों का अध्ययन करते हुए देने के निर्देश दिए गए हैं। यह रिपोर्ट आने में करीब एक से डेढ़ महीना लगेगा। इसके बाद भी इस ब्रिज का भविष्य तय होगा। 

सीएम ने 17 जनवरी को रखी थी आधारशिला, मार्च से होना था काम

सीएम डॉ. मोहन यादव ने इस ब्रिज के लिए 17 जनवरी को इंदौर में आधारशिला रखी थी। इसके बाद दो मार्च से काम शुरू करने की बात कही गई थी। निर्माण एजेंसी ने कॉरिडोर के 5 से 6 स्थानों पर सॉइल टेस्टिंग (मृदा परिक्षण) शुरू कर दी थी। शहर में केंद्रीय सड़क निधि योजना के तहत मंजूर यह एलिवेटेड ब्रिज एलआईजी चौराहे से नौलखा चौराहे तक प्रस्तावित है। कुल 6.70 किमी लंबे इस ब्रिज के काम की शुरुआत एलआईजी से इंडस्ट्रियल हाउस की की जाना प्रस्तावित है। 

6.70 किमी के ब्रिज में 3 चौराहों पर भुजा निकालने का प्रस्ताव

इस एलिवेटेड ब्रिज की लंबाई 6.70 किलोमीटर, चौड़ाई 15.50 मीटर एवं भू-तल से पुल की ऊंचाई 10 मीटर प्रस्तावित है। इसकी कुल लागत 350 करोड़ रुपए है। इस एलिवेटेड ब्रिज की साइड पर एक भुजा गिटार चौराहे पर एक भुजा गीता भवन चौराहे पर मधुमिलन चौराहे की तरफ होगी। इसी तरह एक भुजा शिवाजी वाटिका चौराहे पर पीपल्याहाना की तरफ प्रस्तावित है। पुल निर्माण की एजेंसी लोक निर्माण विभाग की ब्रिज सेल है। ठेका कंपनी अहमदाबाद की राजकमल एंड एसोसिएट है।

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