MPPSC 2024 PRE का पेपर देने के बदले नाबालिग ने मांगे थे दो हजार रुपए , आरोपी ने यूट्यूब से सीखा था तरीका

द सूत्र की न्यूज के बाद पीएससी ने संयोगितागंज थाने में शिकायत की थी। इस मामले का आरोपी कोई शातिर अपराधी नहीं, बल्कि 10वीं क्लास में पढ़ने वाला 16 साल का नाबालिग लड़का है।

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Sanjay gupta
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MPPSC 2024 प्री का पेपर
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INDORE. द सूत्र ने सबसे पहले 22 जून को खुलासा किया था पेपर लीक नाम से टेलीग्राम ग्रुप बना है और पीएससी 2024 प्री का पेपर ( MPPSC 2024 Pre paper ) इस पर लीक करने की बात कही जा रही है। इस पर ढाई हजार रुपए और दो हजार में डील कर पेपर बेचा जाने का दावा है। द सूत्र की न्यूज के बाद पीएससी ने पूरे मामले में संयोगितागंज थाने में शिकायत की। इस जांच के बाद इसका आरोपी कोई शातिर अपराधी नहीं बल्कि 16 साल का नाबालिग लड़का निकला है जो 10वीं में पढ़ता है और यूट्यूब से तरीका सीखा था। 

राजस्थान में पकड़ाया

टेलीग्राम ग्रुप पर एक नाबालिग लड़के ने डाला था। उसी ने दूसरे स्टूडेंट्स से पेपर के लिए 2500 रुपए मांगे थे। आरोपी राजस्थान के झुंझुनू जिले का रहने वाला है।  आरोपी ने पुलिस पूछताछ में बताया कि पेपर के एवज में कुछ स्टूडेंट्स से उसने रुपए भी वसूले हैं। यूजीसी नेट का पेपर भी इसी तरह सोशल मीडिया पर डाला था, जिसके बाद सीबीआई और आईबी उसका मोबाइल जब्त कर ले गई है।

इस तरह से हुआ था सौदा, द सूत्र ने भी किया था

22 जून को सोशल मीडिया पर एमपीपीएससी 2024 का पेपर लीक होने का मामला सामने आया था। एमपीपीएससी पेपर लीक 2024 के नाम से टेलीग्राम पर ग्रुप बनाया था। इसमें एक लिंक दी गई थी। ग्रुप पर 2500 रुपए में पेपर का सौदा हो रहा था। पेपर पर सेट-ए लिखा था। प्रश्नों का स्तर भी एमपीपीएससी जैसा था।  द सूत्र ने रात को इस ग्रुप पर जाकर सौदा किया और दो हजार में बात हुई लेकिन वह पेपर राशि जमा करने के बाद ही देने का बोल रहा था। सीधे मिलने से इंकार किया। द सूत्र ने 22 जून को सुबह ही जिले के सभी जिम्मेदार अधिकारियों को इसकी सूचना दे दी। इसके बाद एफआईआर हुई। 

 MPPSC 2024 प्री पेपर screenshot

MPPSC 2024 प्री का पेपर SS

इस तरह से द सूत्र ने खुद सौदा कर पकड़ा था फर्जीवाड़ा

राशि के लिए क्यू आर कोड भेजा था

पेपर बेचने वाले ने ग्रुप पर अपनी पहचान छिपाकर रखी थी। केवल टेलीग्राम की एक आईडी दी थी। पेपर मांगने वालों के लिए क्यूआर कोड भेजा था। क्यूआर कोड पर रुपए भेजने पर पेपर मिलना था। हालांकि, एमपीपीएससी के अधिकारियों ने पेपर लीक की बात से इनकार कर दिया था।  लेकिन 22 जून को ही सुबह एक लाइब्रेरी का मॉक टेस्ट का प्री का पेपर भी जारी हो गया, जिससे भ्रम हुआ कि पेपर लीक हो गया है। अगले दिन 23 जून को जब एग्जाम हुआ और पेपर को मैच किया तो पेपर फर्जी निकला। इसके बाद एमपीपीएससी के अधिकारियों ने इंदौर के संयोगितागंज थाने में अज्ञात व्यक्ति के खिलाफ केस दर्ज करवाया था।

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sanjay gupta

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