BHOPAL. मध्य प्रदेश सरकार की कैबिनेट बैठक मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव की अध्यक्षता में हुई, जिसमें ऊर्जा, शिक्षा और अन्य विभागों के लिए महत्वपूर्ण फैसले लिए गए। उपमुख्यमंत्री राजेंद्र शुक्ल ने कैबिनेट बैठक में लिए गए फैसलों की जानकारी दी। डिप्टी सीएम ने बताया कि कैबिनेट बिजली सुधार कार्य के लिए 6 हजार करोड़ रुपए मंजूर किए है। साथ ही 11 दिसंबर से 26 जनवरी तक पूरे प्रदेश में मुख्यमंत्री जन कल्याण कार्यक्रम चलाया जाएगा। धान मिलिंग के लिए प्रोत्साहन राशि देने का भी फैसला लिया है।
कैबिनेट ने लिए अहम फैसले
डिप्टी सीएम राजेंद्र शुक्ल ने कैबिनेट बैठक में लिए गए फैसलों की जानकारी देते हुए बताया कि भारत सरकार की RDSS योजना ऊर्जा क्षेत्र में वितरण प्रणाली को सुधारने के लिए विकसित की गई है। इस योजना में केंद्र का योगदान 60 प्रतिशत है, जबकि राज्य का योगदान 40 प्रतिशत है। मध्य प्रदेश को इस योजना के तहत 18000 करोड़ रुपए की स्वीकृति मिली थी, जिसमें से 40 प्रतिशत, अर्थात 6000 करोड़ रुपए, कंपनियों को ऋण के रूप में प्रदान किए जाने थे। कैबिनेट ने ऊर्जा विभाग के प्रस्ताव को मंजूरी देते हुए इसे इक्विटी में परिवर्तित करने का निर्णय लिया है। इससे वितरण कंपनियों की स्थिति में सुधार की संभावना जताई जा रही है।
धान मिलिंग के लिए राशि देने का फैसला
सरकार ने 2023-2024 के लिए धान मिलिंग के उद्देश्य से मिलिंग राशि, प्रोत्साहन राशि और अपग्रेडेशन राशि प्रदान करने का निर्णय लिया है। इसके साथ ही, प्रधानमंत्री उच्चतर शिक्षा अभियान पीएम ऊषा के प्रभावी क्रियान्वय के लिए भी स्वीकृति दी गई है।
मुख्यमंत्री जनकल्याण कार्यक्रम का होगा आयोजन
मध्य प्रदेश में 11 दिसंबर से 26 जनवरी तक प्रदेश भर में मुख्यमंत्री जनकल्याण कार्यक्रम मनाए जाने का फैसला लिया गया है। मुख्यमंत्री मोहन यादव के कार्यकाल का एक साल पूरा होने पर यह कार्यक्रम किया जा रहा है। कार्यक्रम के तहत कल्याणकारी योजनाओं से वंचित लोगों के आवेदन स्वीकार किए जाएंगे और उन्हें भी लाभार्थी बनाया जाएगा। सरकार का उद्देश्य लगभग 45 योजनाओं के लाभार्थियों को 63 सेवाओं का लाभ प्रदान करना है।
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