Ratlam@आमीन हुसैन
रतलाम के आलोट में वेयरहाउस मैनेजर आरडी शर्मा के सुसाइड केस में पुलिस ने 2 बीजेपी नेताओं के खिलाफ का केस दर्ज किया है। पुलिस ने सुसाइड नोट में पूर्व नगर परिषद अध्यक्ष राजेश परमार और बीजेपी नेता मनोज काला के नाम सामने आने के बाद यह कार्रवाई की है। फिलहाल दोनों बीजेपी नेताओं की गिरफ्तारी नहीं हुई है। वहीं मामले में दोनों नेताओं ने आरोप को निराधार बताया है।
जानें पूरा मामला
दरअसल, आलोट में शनिवार को मध्य प्रदेश वेयर हाउसिंग कॉर्पोरेशन के आलोट शाखा प्रबंधक आरडी शर्मा ने जहरीला पदार्थ खाकर आत्महत्या कर ली थी, यह कदम उठाने से पहले उन्होंने एक सुसाइड नोट लिखा था, जिसमें उन्होंने ताल के 2 निजी वेयर हाउस संचालकों मनोज काला और राजेश परमार को मौत का जिम्मेदार ठहराया है। यह दोनों बीजेपी से जुड़े हैं, राजेश परमार ताल नगर परिषद अध्यक्ष और जिला पंचायत उपाध्यक्ष जबकि मनोज काला सांसद का नजदीकी है। मामला सामने आने के बाद ताल और आलोट क्षेत्र के सभी वेयर आउस सील कर दिए गए हैं।
सुसाइड नोट में दो बीजेपी नेताओं के नाम
ग्वालियर निवासी वेयर हाउस मैनेजर आरडी शर्मा आलोट में किराए के मकान में अकेले रहते थे। शनिवार को कमरे में उन्होंने सल्फास की गोली का सेवन कर लिया था। इसके बाद उन्हें गंभीर हालत में उज्जैन के निजी अस्पताल में भर्ती किया था, जहां इलाज के दौरान मौत हो गई। मामले में जांच करते हुए आलोट थाना पुलिस ने मैनेजर का कमरा सील कर दिया था। इसके बाद रविवार को पुलिस ने मामले में जांच के लिए कमरे का ताला खोला, पुलिस ने मैनेजर के कमरे से 7-8 लाइन का सुसाइड नोट बरामद किया।
सुसाइड नोट में क्या लिखा...
सुसाइड नोट में लिखा है कि श्रीनाथ वेयर हाउस ताल के संचालक मनोज काला और कृष्णा एग्रो सर्विसेस ताल के संचालक राजेश परमार मेरी मौत के लिए जिम्मेदार हैं। इन लोगों ने गोदामों में रखा स्टॉक गायब कर दिया है, एक साल से मानसिक रूप से परेशान हूं। अब सुसाइड नोट मिलने के बाद पुलिस ने सोमवार को बीजेपी नेता राजेश परमार और मनोज काला के खिलाफ आत्महत्या के लिए उकसाने का केस दर्ज किया। फिलहाल पुलिस मामले में जांच कर रही है।
मैनेजर के आरोप निराधार
केस दर्ज होने पर बीजेपी नेता राजेश परमार का बयान सामने आया है। राजेश परमार का कहना है की मेरा उनसे (मैनेजर) कभी कोई विवाद नहीं हुआ फिर उन्होंने मेरा नाम क्यों लिया यह समझ नहीं पा रहा हुं, वेयर हाउस का काम मेरा बेटा देखता है, उन्होंने आगे कहा कि मामले में निष्पक्ष जांच होना चाहिए। वहीं दूसरे आरोपी मनोज काला का कहना है की आरोप निराधार है, वेयरहाउस मैनेजर का कोई पारिवारिक विवाद होगा हमारे खिलाफ झूठा आरोप लगाया है।
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