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मध्यप्रदेश लोक सेवा आयोग (पीएससी) की राज्य सेवा परीक्षा 2024 के इंटरव्यू में इस बार जाति, सरनेम जैसी जानकारियां नहीं ली गईं, यानी इन्हें छिपाया गया, जिसका सीधा असर इंटरव्यू के अंकों में दिखा है। लगातार यह देखा जा रहा था कि मेंस में अधिक अंक लाने के बाद भी इंटरव्यू में कम अंक मिलने के कारण उम्मीदवार की रैंक गिर जाती थी और वह डिप्टी कलेक्टर बनने की बजाय नायब तहसीलदार जैसे निचले पद पर आ जाता था।
द सूत्र ने उठाया था मुद्दा
द सूत्र ने पीएससी 2022 के जनवरी 2025 में आए रिजल्ट के बाद इंटरव्यू के अंकों का विश्लेषण किया और इसकी तथ्यपरक रिपोर्ट पेश की थी। इसके बाद आयोग ने जून 2025 में इस पर गौर करते हुए इंटरव्यू के तरीके में बदलाव किया। इसके तहत पहले इंटरव्यू से पूर्व उम्मीदवार से पांच पन्नों में विस्तृत जानकारी ली जाती थी, जो इंटरव्यू बोर्ड के सामने रखी जाती थी, उसे बदलकर केवल एक पन्ने का कर दिया गया। इसमें अहम बात यह थी कि उम्मीदवार के सरनेम, जाति और कैटेगरी के कॉलम को हटा दिया गया। इससे जो आशंका थी कि जाति और कैटेगरी के आधार पर बोर्ड में अंक देने में भेदभाव हो सकता था, वह खत्म हो गई।
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टॉपर्स में 83 अंक का अंतर था 2022 की परीक्षा में
द सूत्र ने 2022 के इंटरव्यू में अंकों का विश्लेषण किया, तो चौंकाने वाला खुलासा हुआ था। इसमें भले ही टॉपर दीपिका पाटीदार थीं, लेकिन उन्हें इंटरव्यू के अंकों से बढ़त मिली थी। उनके मेंस में 1400 अंक में से 756.75 अंक थे, लेकिन इंटरव्यू में उन्हें 175 में से 146 अंक मिले, कुल अंक 902.75 हुए और वह टॉप कर गईं। वहीं, विवेक पटेल को मेंस में 1400 में से सबसे ज्यादा 797.50 अंक मिले, लेकिन उन्हें इंटरव्यू में 175 अंकों में से केवल 63 अंक मिले, यानी पूरे 83 अंकों का अंतर था। इसके चलते विवेक के कुल अंक 843.25 हुए। वह डिप्टी कलेक्टर की वेटिंग लिस्ट में आए और अंतिम चयन में वह सहायक संचालक स्कूल शिक्षा पद पर ही आ सके।
(तब मेंस 1400 अंक और इंटरव्यू 175 अंक का कुल 1575 अंक की मेरिट बनती थी, अब मेंस 1500 और इंटरव्यू 185 अंक, कुल मेरिट 1685 अंक से बनती है)
2024 में जिसमें मेंस में ज्यादा नंबर आए, वही टॉपर बना
इंटरव्यू बोर्ड में किए गए बदलाव जुलाई 2025 में हुए पीएससी 2023 के इंटरव्यू से लागू हो गए, लेकिन अभी इसका अंतिम रिजल्ट बाकी है। हालांकि, शुक्रवार 12 सितंबर को आए पीएससी 2024 के अंतिम रिजल्ट में यह बदलाव साफ दिखा। इसमें संभवतः पहली बार ऐसा हुआ कि जिसमें उम्मीदवार के मेंस में अधिक अंक आए, वही टॉपर भी बना है और रैंक 1 पर आया है। मेंस के टॉपर और इंटरव्यू में सर्वाधिक अंक लाने के बीच अंकों का केवल 11 अंकों का अंतर था। पहले यह अंतर 40-50 अंकों तक देखा जाता था। इसके कारण मेंस के टॉपर इंटरव्यू के चलते मात खाकर निचले पायदान पर पहुंच जाते थे।
देखिए इस बार टॉप टेन के मेंस और इंटरव्यू अंक
पीएससी में मेंस 1500 अंक और इंटरव्यू 185 अंक का होता है। अंतिम मेरिट 1685 अंकों के आधार पर बनती है।
1- देवांशु शिवहरे- कुल अंक 953- इन्हें मेंस में सर्वाधिक 813 अंक मिले, इंटरव्यू में 140 अंक
2- ऋषव अवस्थी- 945.50 अंक- मेंस में 806.50 अंक और इंटरव्यू में 139 अंक
3- अंकित- 942 अंक- मेंस में 807 अंक और इंटरव्यू में 135 अंक
4- शुभम- 913 अंक- मेंस में 763 अंक और इंटरव्यू में 150 अंक
5- हर्षिता दवे- 893.75 अंक- मेंस में 742.75 अंक और इंटरव्यू में सर्वाधिक 151 अंक
6- रूचि जाट- 891 अंक- मेंस में 780 अंक और इंटरव्यू में 111 अंक
7- नम्रता जैन- 890 अंक- मेंस में 748 अंक और इंटरव्यू में 142 अंक
8- गिरराज परिहार- 859.75 अंक- मेंस में 747.25 और इंटरव्यू में 135 अंक
9- स्वर्णा दिवान- 833.75 अंक- मेंस में 695.75 और इंटरव्यू में 138 अंक
10- विक्रमदेव सरयम- 765.50 अंक- मेंस में 655.50 और इंटरव्यू में 110 अंक
इसके पहले देखिए इंटरव्यू के कारण टॉपर का क्या हुआ
मप्र लोक सेवा आयोग द्वारा राज्य सेवा परीक्षा 2022 के अंतिम रिजल्ट में चयनित करीब 400 उम्मीदवारों के अंकों का द सूत्र ने पूरा विश्लेषण किया था। इससे खुलासा हुआ कि मेंस यानी लिखित परीक्षा के हिसाब से देखा जाए तो टॉपर दीपिका नहीं बल्कि विवेक पटेल होते हैं, जिन्हें सबसे ज्यादा अंक मिले थे।
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यह हुआ था 2022 के पीएससी इंटरव्यू में
- विवेक पटेल को मेंस में 1400 में से सबसे ज्यादा 797.50 अंक मिले, लेकिन उन्हें इंटरव्यू के 175 अंकों में से केवल 63 अंक दिए गए, इसके चलते कुल अंक 843.25 हुए। वह डिप्टी कलेक्टर की वेटिंग में आए और अंतिम चयन में वह सहायक संचालक स्कूल शिक्षा पद पर आए।
- टॉपर दीपिका पाटीदार को मेंस में 756.75 अंक ही थे, लेकिन इंटरव्यू में उन्हें 175 में से 146 अंक मिले, कुल अंक 902.75 हुए और वह टॉप कर गईं।
- इंटरव्यू में केवल विवेक के साथ यह नहीं हुआ, राम को मेंस में 768.25 अंक मिले, लेकिन इंटरव्यू में उन्हें केवल 75 अंक मिले, और वह 843.25 अंक के साथ डिप्टी कलेक्टर बनने की जगह स्कूल संचालक पद पर आ गए।
- इसी तरह एक उम्मीदवार थे वैदिक गोयल, उन्हें मेंस में 746.25 अंक मिले, लेकिन इंटरव्यू में मात्र 85 अंक प्राप्त हुए और कुल अंक 831.25 के साथ वह उच्च पद की जगह नायब तहसीलदार की वेटिंग में पहुंच गए।
- इसी तरह मेंस में 769 अंक लाने वाली नेहा अग्रवाल को इंटरव्यू में 100 ही अंक मिले और वह 869 अंकों के साथ डीएसपी पद पर चयनित हुईं, नहीं तो वह डिप्टी कलेक्टर बन सकती थीं।
- मेंस में 753.25 अंक लाने वाले यशपाल स्वर्णकार को मात्र 67 अंक इंटरव्यू में मिले, और वह डिप्टी कलेक्टर बन सकते थे, लेकिन इंटरव्यू के चलते मात खाकर वाणिज्यिक कर इंस्पैक्टर पर पहुंच गए।
राज्य सेवा परीक्षा 2024 के टॉपर को भी पहले कम अंक थे
MPPSC राज्य सेवा परीक्षा 2024 में टॉप करने वाले श्योपुर के देवांशु शिवहरे, जो साल 2022 की परीक्षा में वाणिज्यिक कर निरीक्षक यानी सीटीआई के पद पर चयनित हुए थे, इस बार 140 अंक लेकर डिप्टी कलेक्टर पर चयनित हुए हैं। उनके पिछले इंटरव्यू में केवल 63 अंक थे।
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राज्य सेवा परीक्षा के टॉपर्स के कुल अंक
राज्य सेवा परीक्षा 2024 के जारी हुए रिजल्ट में 13 पद डिप्टी कलेक्टर के थे। इसमें 8 पुरुष और 5 महिला उम्मीदवारों को चयनित किया गया। मेरिट के आधार पर इनका मेरिट क्रम इस प्रकार है।
1- देवांशु शिवहरे- कुल अंक 953 (1685 अंक में से)
2- ऋषव अवस्थी- 945.50 अंक
3- अंकित- 942 अंक
4- शुभम- 913 अंक
5- हर्षिता दवे- 893.75 अंक
6- रूचि जाट- 891 अंक
7- नम्रता जैन- 890 अंक
8- गिरराज परिहार- 859.75 अंक
9- स्वर्णा दिवान- 833.75 अंक
10- विक्रमदेव सरयम- 765.50 अंक
11- शिवानी सिरमचे- 761.50 अंक
12- जतिन ठाकुर- 759.75 अंक
13- हिमांशु सोनी- 716 अंक
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इंदौर की हर्षिता को इंटरव्यू में इसलिए सर्वाधिक अंक
परीक्षा में महिलाओं में टॉपर और मेरिट में 5वें क्रम पर रही हर्षिता दवे, साहित्य एकेडमी के डायरेक्टर डॉ. विकास देवे की बेटी हैं और वह इंदौर की ही हैं। उन्होंने बीए और एमए किया है। उनकी मां भी निजी स्कूल में शिक्षक हैं। हर्षिता दवे ने बताया कि वह इंटरनेशनल स्तर की डिबेटर हैं और भारत को इंटरनेशनल स्तर पर रिप्रिजेंट कर चुकी हैं। इसी कारण उन्हें इंटरव्यू में सबसे ज्यादा अंक मिले हैं। यह उनका दूसरा अटेंप्ट था, पहले में 2023 की प्री थी। इस बार मेंस और इंटरव्यू दोनों दिए और पांचवे पायदान पर आईं।