BHOPAL.दिग्गज नेता कमलनाथ के गढ़ में अमरवाड़ा विधानसभा सीट पर उपचुनाव में शिकस्त के बाद कांग्रेस में समीक्षा का दौर चल पड़ा है। बीते सप्ताह कांग्रेस मुख्यालय पीसीसी में तीन दिन चले मंथन के बाद अब प्रदेश अध्यक्ष जीतू पटवारी ने संगठन की नब्ज टटोल रहे हैं। पूर्व सीएम शिवराज सिंह के इस्तीफे के बाद खाली हुई बुदनी और कांग्रेस छोड़कर भाजपा सरकार में मंत्री बने रामनिवास रावत की सीट विजयपुर में उपचुनाव से पहले पटवारी ने कैडर रिव्यू शुरू कर दिया दिया है। पटवारी एक दिन पहले ही बुदनी सीट पर पार्टी कार्यकर्ताओं के मन की थाह लेने पहुंच चुके हैं। माना जा रहा है अमरवाड़ा में हार के छोटे अंतर को देखते हुए कांग्रेस संगठन को नए समीकरणों की आस नजर आ रही है। पटवारी भी इसे संगठन में खुद को साबित करने का अवसर मान रहे हैं।
पीसीसी चीफ की साख पर उठ रहे सवाल
विधानसभा चुनाव के बाद कांग्रेस को लोकसभा चुनाव में कांग्रेस को करारी पराजय का सामना करना पड़ा था। इससे प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष जीतू पटवारी की साख पर सवाल खड़े होने लगे हैं। संगठन के ही नेता जीतू के नेतृत्व को चुनौती भी दे चुके हैं। इन परिस्थितियों में पटवारी को खुद को साबित करना बड़ा सवाल बन गया है।
नए समीकरण बनाने में जुटे पटवारी
कांग्रेस के गढ़ छिंदवाड़ा की अमरवाड़ा सीट पर भी हार हो चुकी है, लेकिन पराजय के बहुत कम अंतर को जीतू पटवारी नए समीकरण के रूप में बदलने की कोशिश में जुट गए हैं। क्योंकि आने वाले दिनों में प्रदेश में बुदनी और विजयपुर के अलावा बीना विधानसभा सीट पर भी उपचुनाव होना तय है। बुदनी से पूर्व सीएम शिवराज सिंह चौहान और विजयपुर सीट से कांग्रेस विधायक भाजपा में शामिल होकर इस्तीफा दे चुके हैं। वहीं कांग्रेस ने दल बदल की शिकायत कर बीना विधायक निर्मला सप्रे की विधायकी शून्य करने की मांग की है।
उपचुनाव की घोषणा से पहले फील्ड में पटवारी
हालांकि अभी प्रदेश की इन तीनों सीटों पर उपचुनाव की घोषणा नहीं हुई है लेकिन कांग्रेस खुद को मजबूत करने में जुटी दिख रही है। बीते सप्ताह प्रदेश प्रभारी भंवर जितेन्द्र सिंह के दौरे और पीसीसी में मैराथन बैठकों के बाद संगठन की तुरपाई शुरू हो गई है। कांग्रेस अध्यक्ष जीतू पटवारी गुरुवार को बुदनी विधानसभा के सलकनपुर पहुंचे थे। यहां विजयासन माता मंदिर में पूजा अर्चना के बाद पटवारी ने कांग्रेस के सेक्टर, मंडलम से लेकर बूथ स्तर तक के कार्यकर्ताओं और पदाधिकारियों के साथ बैठक कर विधानसभा क्षेत्र की जनता के मूड को भांपने की कोशिश की है।
पीसीसी अध्यक्ष पटवारी ने रेहटी के बूथ प्रभारी और एजेंट्स के साथ भी बैठक की है। पटवारी बुदनी और विजयपुर में कांग्रेस के सभी प्रमुख नेताओं के साथ ही बूथ लेवल तक पहुंचने की कोशिशों में जुटे हुए हैं। हर कार्यकर्ता से अलग बात कर वे क्षेत्र में होने वाले उपचुनाव में जनता की पसंद समझने का प्रयास कर रहे हैं। फिलहाल बुदनी को पटवारी ने अपने फोकस पर लिया है और वे हर दूसरे दिन या तो बुधनी विधानसभा क्षेत्र में पहुंच रहे हैं या वहां के कार्यकर्ताओं-पदाधिकारियों के साथ बैठक करने में जुटे हैं।
विजयपुर-बीना से भी ले रहे फीडबैक
जानकारी के अनुसार जीतू पटवारी लोकसभा चुनाव में हार के बाद अब अंचलों में एक्टिव कार्यकर्ताओं को टटोल रहे हैं। इसके लिए बुदनी के साथ ही विजयपुर और बीना में भी वे लगातार ऐसे पदाधिकारी ही नहीं कार्यकर्ताओं से भी लगातार संपर्क बना रहे हैं। विजयपुर में कांग्रेस छोड़ने वाले पूर्व विधायक रामनिवास रावत को टक्कर देने वाले चेहरे की तलाश भी तेज कर दी गई है। वहीं बीना में भी कांग्रेस को अपनी ही पुरानी कार्यकर्ता और वर्तमान विधायक निर्मला सप्रे से मुकाबला करने वाले उम्मीदवार की तलाश है। क्योंकि कांग्रेस बीना सीट पर सप्रे के इस्तीफे के बाद बीजेपी द्वारा उन्हें ही मैदान में उतारना तय मान रही है।
बुदनी से कांग्रेस पूर्व मंत्री और सीनियर लीडर राजकुमार पटेल के अलावा जिला पंचायत सदस्य कमलेश यादव, पूर्व जनपद अध्यक्ष महेश राजपूत के साथ ही किरार समाज के स्थानीय युवा नेताओं की जानकारी ले रही है। चंबल अंचल के विजयपुर में समाजवादी पार्टी के प्रभाव को देखते हुए रामनिवास रावत से मुकाबले में कांग्रेस समाजवादियों को साथ लाने के प्रयास में जुट गई है।
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