BHOPAL. सोम डिस्टलरी पर एक बार फिर कार्रवाई की तलवार लटक गई है। फर्जी दस्तावेजों के आधार पर शराब परिवहन करते पकड़े गए कर्मचारियों के मामले में आबकारी आयुक्त ने नोटिस जारी कर कंपनी से जवाब-तलब किया है। आबकारी कमिश्नर ने पूछा है कि क्यों ना इस मामले में कंपनी का लाइसेंस निरस्त कर दिया जाए ?
विभाग के नोटिस पर कंपनी ने यदि सात दिन के भीतर जवाब नहीं दिया तो एकतरफा कार्रवाई की जाएगी। यह मामला देपालपुर क्षेत्र का है। फर्जी दस्तावेजों के आधार पर शराब परिवहन किए जाने के मामले में सोम डिस्टलरीज के कर्मचारियों को हिरासत में लिया गया था। इस प्रकरण में देपालपुर की अदालत ने आरोपियों को सजा सुनाई है।
1200 पेटी अंग्रेजी शराब का केस
यह जानकर हैरानी होगी कि शराब परिवहन का यह मामला 13 साल पुराना है। 14 दिसंबर 2011 को महू-नीमच रोड पर ट्रक से 1200 पेटी अंग्रेजी शराब का परिवहन किया गया था। इस ट्रक की बिल्टी, परमिट बुक सब अवैध रूप से तैयार किए गए थे। यह पूरा षड्यंत्र सरकार को चपत लगाने की मंशा से किया गया था।
आबकारी कमिश्नर का सख्त रुख
बाद में इस मामले में देपालपुर के अपर सत्र न्यायाधीश की अदालत ने 23 दिसंबर 2023 को तब सोम में पदस्थ कर्मचारियों को सजा सुनाई। इसके बाद फ्लाइंग स्क्वॉड भोपाल के उपायुक्त की 1 जनवरी 2024 की चिट्ठी पर अब आबकारी कमिश्नर ने सख्त रुख अपनाते हुए सोम डिस्टलरी को चेतावनी दी है।
सोम पर आयकर ने मारा था छापा
गौरतलब है कि विधानसभा चुनाव से पहले आयकर विभाग के 500 अधिकारियों और कर्मचारियों की टीम ने सोम ग्रुप के ठिकानों पर छापेमारी की थी। यह कार्रवाई टैक्स चोरी के आरोपों पर की गई थी। सूत्रों के अनुसार, छापे में नकदी और दस्तावेज जब्त मिले थे।