Raipur. प्रदेश कांग्रेस संगठन प्रभारी कुमारी की मौजूदगी में सत्ता और संगठन के प्रमुख चेहरों के साथ चली मैराथन बैठक अब से कुछ देर पहले समाप्त हो गई है। इस बैठक में सीएम भूपेश,मंत्री टी एस सिंहदेव, मंत्री मोहम्मद अकबर,मंत्री शिव डहरिया,मंत्री ताम्रध्वज साहू विधानसभा अध्यक्ष डॉ चरणदास महंत और पीसीसी चीफ़ मोहन मरकाम मौजूद थे। इनके अलावा विधायक धनेंद्र साहू विधायक सत्यनारायण शर्मा भी इस बैठक में शामिल थे। करीब दो बजे से यह बैठक शुरु हुई जो मैराथन चली। अस्वस्थ बताए जा रहे मंत्री रविंद्र चौबे से फ़ोन से बातचीत कर रायशुमारी ली गई साथ ही अब तक की मंत्रणा से अवगत कराया गया।
29 जून तक चुनावी समितियाँ अस्तित्व में आ जाएँगी
बैठक पूरी तरह चुनावी तैयारियों पर ही केंद्रित रहीं लेकिन ईडी की कार्रवाई के मसले ने भी अपनी जगह बनाई थी। बैठक को लेकर जो जानकारी सामने आई है, उसके अनुसार पाँच साल या उससे ज्यादा समय के यदि ज़िलाध्यक्ष कहीं होंगे तो वो हटेंगे, साथ ही नए बने ज़िलों को ज़िलाध्यक्ष भी जल्द मिलेंगे। सबसे अहम फ़ैसले में फ़ैसला चुनाव की विभिन्न समितियों का है, जिसे लेकर खबरें हैं कि, आगामी 28-29 जून तक यह समितियाँ गठित हो जाएँगी। इनमें संचालन समिति, अनुशासन समिति, प्रचार समिति, घोषणा पत्र समिति शामिल हैं। खबरें हैं कि किसी वरिष्ठ ने इस बार महत्वपूर्ण समिति में शामिल होने से इंकार कर दिया है। प्रस्ताव यह भी आया कि, नए लोगों को रखा जाना चाहिए।
संभाग और विधानसभा के बाद अब बूथ चलो अभियान
कांग्रेस ने पाँचों संभाग में कार्यकर्ता सम्मेलन किए हैं। इसके ठीक बाद विधानसभा वार प्रशिक्षण शिविर किए जा रहे हैं। इस के ठीक बाद 26 जून से कांग्रेस बूथ चलो अभियान पर जुटेगी। इस अभियान में हर बूथ पर यथा संभव शीर्षस्थ नेता पहुँचेंगे और कार्यकर्ताओं को रिचार्ज करेंगे।
22 जून को सुबह 10 बजे सीएम से वन टू वन
कांग्रेस के सूत्रों के अनुसार बैठक का क्रम कल भी जारी रहेगा। लेकिन कल की जिस बैठक पर नज़रें रहेंगी वह बैठक सुबह 10-11 बजे सीएम हाउस में होगी। इस बैठक में केवल दो लोग होंगे। एक तो खुद संगठन प्रभारी कुमारी सैलजा और दूसरे मुख्यमंत्री भूपेश बघेल।
पीसीसी में हुए बदलाव पर रोक
पीसीसी चीफ मोहन मरकाम ने दो दिन पहले पीसीसी में बदलाव करते हुए प्रभार में परिवर्तन किया था, उसे लेकर खबरें हैं कि संगठन प्रभारी कुमारी सैलजा ने उस पर फिलहाल रोक लगा दी है। इस आशय का एक पत्र भी वायरल हो रहा है हालाँकि उस पत्र की पुष्टि राजीव भवन नहीं कर रहा है। वह पत्र जो कि वायरल है उसमें लिखा गया है कि, पूर्व आदेश रद्द किया जाता है, रवि घोष को संगठन महामंत्री की जवाबदेही दी जाती है। दोनों ही स्थितियों में याने जो चर्चा है उसके अनुसार और यदि वायरल पत्र सही है तो उसके अनुसार भी पीसीसी चीफ़ मरकाम को कोई झटका नहीं है, क्योंकि यदि पुरानी टीम यथावत हो जाती है तो वह मरकाम की ही विश्वस्त टीम थी और यदि पत्र की बात सही है तो भी रवि घोष पीसीसी चीफ़ मरकाम के सबसे विश्वस्त साथी हैं जिन्हे पत्र के अनुसार महामंत्री संगठन का प्रभार दिया गया है।