मनोज भार्गव, Shivpuri. सरकारी अधिकारी कर्मचारियों को रिश्वत की रकम की इतनी लालच हो सकती है इसका अंदाजा आप इसी बात से लगा सकते हैं कि एक बार रिश्वत लेते हुए पकड़े जाने के बाद भी पटवारी ने तौबा नहीं की और एक बार फिर वह रिश्वत लेते रंगे हाथों पकड़ा गया है। मामला शिवपुरी जिले का है, जहां लोकायुक्त की टीम ने नामांतरण के नाम पर 3 हजार रुपए की रिश्वत लेते हुए अवधेश शर्मा नाम के पटवारी को रंगे हाथ पकड़ा गया। लोकायुक्त ने आरोपी पटवारी के खिलाफ मामला कायम कर लिया है।
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यह है मामला
परमाल सिंह यादव नाम के किसान ने लोकायुक्त पुलिस को शिकायत दी थी कि उसकी कृषि भूमि है, जिसका उसे फौती नामांतरण कराना था। लेकिन पटवारी अवधेश शर्मा इस काम के लिए उससे 3 हजार रुपए की मांग कर रहा है। शिकायत का परीक्षण कराने के उपरांत लोकायुक्त पुलिस ने ट्रैप कार्रवाई का जाल बिछाया। शिकायतकर्ता को कैमिकल लगे 3 हजार रुपए के नोट दिए गए। जिसे लेकर वह बदरवास कस्बे की घुरवार रोड पर पहुंचा। जैसे ही रिश्वत की रकम पटवारी ने अपने हाथ में ली लोकायुक्त की टीम ने उसे मौके पर ही दबोच लिया।
2021 में भी पकड़ा गया था रंगे हाथ
जानकारी के मुताबिक पटवारी अवधेश शर्मा 2021 में भी 3 हजार रुपए की रिश्वत लेते हुए रंग हाथ पकड़ा गया था। उस वक्त उसे सस्पैंड भी कर दिया गया था लेकिन पुलिस उस मामले में आज तक चालान पेश ही नहीं कर पाई। जिस कारण बाद में बहाली हो गई और वह एक बार फिर भ्रष्टाचार करने लगा था। जिसकी शिकायत मिलने पर एक बार फिर उस पर भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम के तहत मामला दर्ज हुआ है।
बहरहाल लोकायुक्त की पुलिस ने पकड़े गए पटवारी के हाथ धुलवाए तो उनका रंग गुलाबी हो गया। पटवारी पर मामला दर्ज कर लिया गया है वहीं कार्रवाई की सूचना जिला मुख्यालय को भेज दी गई है।