NARMADAPURAM. नर्मदापुरम के सतपुड़ा टाइगर रिजर्व में पूर्व मंत्री की चिकन पार्टी और प्राइवेट गाड़ियों के अंदर ले जाने का मामला सुर्खियों में है। मामले की जांच गुरुवार को भी जारी है। एसटीआर के डिप्टी डायरेक्टर संदीप फैलोज संबंधित कर्मचारियों से बयान ले रहे हैं। मामले में सबसे चौंकाने वाली बात तो यह है कि जिस फिल्ड डायरेक्टर एल कृष्णमूर्ति पर गंभीर आरोप लगे हैं उन्हीं को प्रधान मुख्य वन संरक्षक (वन्य प्राणी) असीम श्रीवास्तव ने जांच सौंप दी है। अब अंदाज लगाया जा सकता है कि मामले की जांच कितनी निष्पक्ष होगी !
शिकायत में फील्ड डायरेक्टर कृष्णमृर्ति पर आरोप
इस जांच पर सवाल भी उठने लगे हैं। वाइल्ड लाइफ एक्टिविस्ट अजय दुबे की शिकायत पर प्रधान मुख्य वन संरक्षक (वन्य प्राणी) असीम श्रीवास्तव ने जांच की जिम्मेदारी फील्ड डायरेक्टर एल कृष्णमृर्ति को ही सौंप दी है। फील्ड डायरेक्टर मामले की जांच डिप्टी डायरेक्टर संदीप फैलोज से करा रहे हैं। दुबे ने अपनी शिकायत में फील्ड डायरेक्टर कृष्णमृर्ति पर भी गंभीर आरोप लगाए थे।
अजय दुबे ने कहा कि पूर्व मंत्री ने कोर एरिया में आग जलवाई। मांस पकवाया। यह बिना सीनियर अफसरों के संरक्षण के संभव नहीं। नर्मदापुरम में एसटीआर का कोई वरिष्ठ अफसर फील्ड डायरेक्टर के ऊपर नहीं है। जांच भोपाल के किसी अफसर से कराई जानी चाहिए।'
जांच में चौकीदारों के खाना बनाने की बात
गुरुवार को एसटीआर के पश्चिम पचमढ़ी रेंज के रेंजर सुनील पंद्रे, डिप्टी रेंजर, फॉरेस्ट गार्ड और चौकीदारों के बयान लिए गए हैं। पता लगाया जा रहा है कि 16 दिसंबर को पूर्व वन मंत्री विजय शाह की पार्टी का इंतजाम किस अधिकारी के निर्देश पर किया गया था?
अब तक की पूछताछ में सिद्धबाबा पहाड़ी एरिया में चौकीदारों द्वारा खाना बनाने की बात कही गई है। सामने आए तस्वीरों-वीडियो में साफ नजर आ रहा है कि खाना खुले में बनाया जा रहा है। इससे आग लगने का खतरा था।
इन चार बिंदुओं पर की जा रही जांच
- मांस कहां से और कौन लाया? इसके लिए रुपए किसने दिए?
- कोर एरिया में पार्टी के लिए किस अफसर ने निर्देशित किया?
- पूर्व मंत्री के काफिले में कौन-कौन थे, किस गेट से किस अफसर ने उन्हें प्रवेश दिया?
- वीडियो में दिखाई दे रहे वनकर्मी की ड्यूटी किन बीटों में थी?
दुबे ने फील्ड डायरेक्टर पर ये आरोप लगाए
वाइल्ड लाइफ एक्टिविस्ट अजय दुबे ने शिकायत में कहा है कि सतपुड़ा टाइगर रिजर्व में फील्ड डायरेक्टर एल. कृष्णमूर्ति के संरक्षण में वन्य प्राणी संरक्षण अधिनियम का उल्लंघन लगातार जारी है। फील्ड डायरेक्टर अक्सर वीआईपी लोगों को नियम-कानून तोड़कर सुविधाएं प्रदान करते हैं। इसकी पहले भी शिकायतें हुई थीं, लेकिन ठोस कदम नहीं उठाए गए।