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नितिन मिश्रा, RAIPUR. केंद्र सरकार द्वारा सुगम्य भारत अभियान के तहत दिव्यांग जनों के लिए रैंप कि निर्माण किया जाना था। लेकिन राजधानी में इस अभियान में लापरवाही देखने को मिली है। राजधानी में 81 दफ़्तरों में रैंप बनाना था। लेकिन अभी तक 23 बिल्डिंगों में ही बनाया गया है। 58 भवन में अभी भी रैंप का निर्माण नहीं हुआ है।
क्या है सुगम्य भारत अभियान
सुगम्य भारत अभियान केंद्र सरकार द्वारा संचालित योजना है। जिसके तहत सभी सरकारी दफ्तरों में दिव्यांग जनों की सुविधा के लिए रैंप बनाए जाने हैं। जिससे दिव्यांग किसी भी दफ्तर तक बिना किसी मदद के पहुंच जाए। इसमें रैंप के साथ लिफ्ट लगाने का प्रावधान भी है। रायपुर में इस अभियान के लिए शुरुआत में 23 भवनों के लिए 2018 में 6 करोड़ 88 लाख 59 हजार रुपए दिए गए थे। लेकिन अभी भी 58 दफ्तर रैंप और लिफ्ट विहीन हैं।
अभियान की नहीं है सुध
अधिकारियों को भी इस अभियान की कोई सुध नहीं है। किसी का ध्यान इस अभियान पर नहीं है। 2018 से अभी तक यानी 6 साल में 81 दफ्तरों का काम नहीं हो पाया है। दिव्यांगों को हो रही असुविधा की ओर किसी का भी ध्यान नहीं है। ना ही अभियान में कोई रुचि दिखाई जा रही है। अभी भी ज़िला पंचायत, तहसील, स्कूल, कॉलेज में सुगम्य भारत अभियान का नामोनिशान देखने को नहीं मिल रहा है। दूसरे फेज में 20 से ज्यादा सरकारी स्कूलों में काम शुरू होना था लेकिन वह भी इससे वंचित है।
जांच रिपोर्ट भेजने नहीं विभाग की रुचि नहीं
शहर की जिन 23 बिल्डिंगों में रैंप बनाया गया है। उसकी जांच रिपोर्ट बनाना और शासन को भेजना भी विभाग ने मुनासिब नहीं समझा है। नए काम के लिए फंड भी नहीं मिल रहा हैं। लेकिन विभाग इसके लिए कोई रुचि भी नहीं दिखा रहा है। जिन बची हुई जगहों में काम शुरू होना है उनके लिए फंड की व्यवस्था नहीं की जा रही है। रैंप और लिफ्ट के निर्माण के लिए विभाग ने अब तक किसी भी प्रकार का सर्वे नहीं किया है। कि किन स्थानों पर इस प्रकार की व्यवस्था की जानी चाहिए।