Jaipur. छात्रसंघ चुनावों को लेकर आज हाईकोर्ट पर नजर रहेगी। चुनाव पर लगे बैन हटाने की मांग को लेकर दायर जनहित याचिका ( PIL ) पर आज हाई कोर्ट में सुनवाई होगी। अधिवक्ता शांतनु पारीक की जनहित याचिका पर मुख्य न्यायाधीश एजी मसीह की खंडपीठ आज सुनवाई करेगी।
छात्र संघ चुनाव को लेकर विगत दिनों उच्च शिक्षा विभाग की बैठक हुई थी। इसमें प्रदेशभर के विश्वविद्यालयों के कुलपतियों ने नई शिक्षा नीति-2020 लागू करने के साथ ही यूनिवर्सिटी में चल रही एडमिशन और रिजल्ट प्रक्रिया का हवाला देकर छात्र संघ चुनाव पर रोक लगाने की बात कही थी। जिस पर इस साल चुनाव नहीं कराने का फैसला किया गया था।
प्रदेशभर में हो रहा विरोध
छात्रसंघ चुनावों पर बैन लगाने के फैसले का विरोध पूरे राजस्थान में हो रहा है। छात्र संगठन और छात्र नेता अलग-अलग तरीके से इस फैसले का विरोध कर रहे हैं। फैसले का सबसे ज्यादा विरोध जयपुर में देखने को मिल रहा है। यहां पिछले 8 दिन से छात्र भूख हड़ताल पर हैं। वहीं कई बार प्रदर्शनकारी छात्रों व पुलिस के बीच झड़प भी हो चुकी हैं। छात्र बैन हटाने की मांग को लेकर अर्द्धनग्न प्रदर्शन से लेकर खुद पर पैट्रोल छिड़क कर आत्मदाह करने की चेतावनी भी दे चुके हैं। इस मुद्दे पर ABVP व NSUI भी एक हैं।
BJP ने कहा सरकार डरी हुई, इसलिए बैन
वहीं इस मामले में अब जमकर राजनीति भी हो रही है। बीजेपी ने छात्रसंघ चुनावों पर बैन लगाने के पीछे का कारण सरकार का डर बताया है। BJP नेताओं का कहना है कि राज्य सरकार जानती है कि इन चुनावों में कांग्रेस के छात्र संगठन NSUI की जबरदस्त हार होने वाली है। ऐसे में विधानसभा चुनावों से पहले सरकार यह नहीं चाहती है कि उसकी इमेज़ खराब हो। वहीं जनता में यह संदेश जाए कि प्रदेश का युवा इस सरकार के खिलाफ है। इसी डर के कारण छात्रसंघ चुनावों पर बैन लगाया है। बीजेपी ने भी चुनावों पर से बैन हटाने की मांग की है।