BHOPAL. होशंगाबाद रोड स्थित चिनार ग्रुप के संचालक सुनील मूलचंदानी को पुलिस ने शुक्रवार, 29 दिसंबर को गिरफ्तार कर लिया है। उसके खिलाफ इंदौर और भोपाल कोर्ट 17 स्थायी गिरफ्तारी वारंट जारी कर चुके हैं। शाहजहांनाबाद पुलिस के मुताबिक, शुक्रवार दोपहर में सुनील मूलचंदानी को उसके ऑफिस चिनार बिल्डर से गिरफ्तार किया गया। सुनील के खिलाफ ईओडब्ल्यू में 100 करोड़ की धोखाधड़ी का केस दर्ज है।
क्या है मामला?
छह दिन पहले 25 दिसंबर को सुनील मूलचंदानी पर दीवान हाउसिंग फाइनेंस लिमिटेड (DHFL) से 100 करोड़ की धोखाधड़ी का आरोप है। सुनील मूलचंदानी ने रतनपुर, नर्मदापुरम रोड के चिनार ड्रीम सिटी प्रोजेक्ट के लिए DHFL से 100 करोड़ का लोन लिया था और इसके एवज में संपत्तियां गिरवी रखी थीं। इसके बाद एग्रीमेंट का उल्लंघन करते हुए उन्होंने बंधक प्रापर्टी फर्जी एनओसी से बेच दी। DHFL के लोन की राशि अदा नहीं की।
चिनार संचालक के पूरे परिवार पर केस
आर्थिक अपराध ब्यूरो (ईओडब्ल्यू) ने सुनील मूलचंदानी, उनके पिता गोपीचंद मूलचंदानी, मां स्वर्गीय मायादेवी, पत्नी अनु, बेटे मनित और दो फर्म फर्म चिनार रियल्टीज और चिनार रिटेल्स एंड इंफ्रास्ट्रक्चर के खिलाफ कूटरचित दस्तावेज तैयार कर षड्यंत्रपूर्वक धोखाधड़ी करने का केस दर्ज किया है। सुनील मूलचंदानी पर ईओडब्ल्यू की जबलपुर और इंदौर यूनिट ने भी धोखाधड़ी के केस दर्ज किए हैं।
मूलचंदानी ने जिस संपत्ति को गिरवी रख लोन लिया, वही फर्जी NOC से बेच दी
- ईओडब्ल्यू के मुताबिक, चिनार रियल्टीज प्राइवेट लिमिटेड और चिनार रिटेल्स एंड इंफ्रास्ट्रक्चर प्राइवेट लिमिटेड नर्मदापुरम रोड, रतनपुर में 23.07 एकड़ जमीन पर चिनार ड्रीम सिटी प्रोजेक्ट विकसित कर रहा है। सुनील मूलचंदानी ने जमीन मालिक रमेश कुमार भावनानी, घनश्याम चावला उर्फ पिनन चावला, रोशन चावला और दर्शन चावला से 31 प्रतिशत पार्टनरशिप का एग्रीमेंट किया था।
- चिनार ग्रुप के संचालक सुनील मूलचंदानी ने DHFL से 2017 में 100 करोड़ रुपए का लोन लिया। 2021 में DHFL पीरामल हाउसिंग एंड केपिटल में मर्ज हो गई। इस कारण पीरामल हाउसिंग एंड केपिटल से दोबारा एग्रीमेंट हुआ। चिनार बिल्डर ने कारपोरेट गारंटी और गोपीचंद, सुनील, मायादेवी, अनु और मनित लोन एग्रीमेंट के व्यक्तिगत गारंटर बने थे। इसमें कई प्रोजेक्ट की प्रापर्टी बतौर गारंटी बंधक की गई। एग्रीमेंट के अनुसार, एक एस्क्रो खाता खोला गया था। इस खाते में बेची गई प्रोपर्टी की राशि जमा करना थी। उनके द्वारा कोलेटरल प्रतिभूतियों के तौर पर चिनार फ्लोरेंस, चिनार इन्क्यूब बिजनेस सेंटर, चिनार फॉर्च्यून सिटी, चिनार 7 माइल और चिनार नेक्ट की गिरवी रखीं गईं मार्टगेज प्रापर्टी बेची गईं।
- बाद में लोन खाता एनपीए हो गया था। पीरामल हाउसिंग एंड केपिटल ने लोन रिकवरी के लिए ओमकारा असेट्स एंड रीकंस्ट्रक्शन प्राइवेट लिमिटेड कंपनी को केस सौंपा था। लोन की रिकवरी नहीं होने पर ओमकारा कंपनी द्वारा ईओडब्ल्यू में कूट रचित दस्तावेज तैयार कर धोखाधड़ी करने की शिकायत की थी। ईओडब्ल्यू ने जांच के बाद बिल्डर सुनील मूलचंदानी, उनके पिता गोपीचंद मूलचंदानी, मां स्व. मायादेवी, पत्नी अनु मूलचंदानी, बेटा मनित मूलचंदानी, फर्म चिनार रियल्टीज प्राइवेट लिमिटेड और चिनार रिटेल्स एंड इंफ्रास्ट्रक्चर प्राइवेट लिमिटेड के खिलाफ धोखाधड़ी समेत अन्य धाराओं में केस दर्ज किया है।
धोखाधड़ी में पहले भी जेल जा चुका सुनील मूलचंदानी
धोखाधड़ी के एक मामले में लंबे समय तक फरार रहे सुनील मूलचंदानी को दो साल पहले पुलिस ने गिरफ्तार कर जेल भेजा था। जहां से वह जमानत पर रिहा हैं। उनके खिलाफ भोपाल ईओडब्ल्यू में वर्ष 2015 में भी धोखाधड़ी का एक केस दर्ज है। इसके अलावा उनके खिलाफ चेक बाउंस के कई मामले चल रहे हैं।