JABALPUR. जबलपुर में छापेमारी के दौरान पकड़े गए 3 ISIS आतंकी ने पूछताछ में बड़ा खुलासा किया है। दरअसल, ये आतंकी जबलपुर मॉड्यूल आयुध फैक्ट्री को धमाके से उड़ाने की साजिश रच रहे थे। उन आतंकियों के पास NIA की टीम को आयुध फैक्ट्री में धमाकों की तैयारी से जुड़े कुछ दस्तावेज भी मिले हैं। अब एजेंसी इन चीजों की जांच में जुटी है कि आखिर आतंकी फैक्ट्री को उड़ाने के लिए इतना विस्फोटक कहां से लाते। बता दें कि भोपाल टेरर फंडिंग केस में NIA ने 26-27 मई को जबलपुर के 12 ठिकानों पर छापेमारी के बाद सयैद ममूर अली, मोहम्मद आदिल खान व मोहम्मद शाहिद को गिरफ्तार किया था। 27 मई को भोपाल की एनआईए कोर्ट ने तीनों को 7 दिन के रिमांड पर एजेंसी को सौंपा था। कोर्ट ने 3 जून को रिमांड की अवधि को 10 दिन और बढ़ा दिया।
पूछताछ में ये बातें भी आई सामने
आतंकियों ने एजेंसी को पूछताछ में बताया कि सिर्फ जबलपुर की आयुध फैक्ट्री की नहीं निशाने में थी, बल्कि सुरक्षा से जुड़े और भी संस्थान निशाने पर थे। उनकी लिस्ट में जबलपुर की गन कैरिज फैक्ट्री, आयुध फैक्ट्री खमरिया, ग्रे आयरन फाउंड्री व व्हीकल फैक्ट्री में सिलसिलेवार धमाकों की तैयारी थी। अब एजेंसी इन 3 आतंकियों की मदद करने वाले लोगों की जांच में जुट गई है। एजेंसी ने कुछ लोगों को चिह्नित किया है, जिससे एजेंसी पूछताछ कर जानकारी जुटाने में लगी है।
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मुस्लिम बाहुल्य इलाके में हुई थी छापेमारी
NIA ने छापेमारी जबलपुर के मुस्लिम बाहुल्य इलाके ओमती में हुई 26 को की थी है। जिस वकील के घर छापेमारी की गई है, उसका नाम ए. उस्मानी बताया जा रहा है। छापेमारी से पहले जांच एजेंसी पूरी तैयारी के साथ वकील के ठिकाने पर पहुंची थी और वहां बड़ी संख्या में पुलिस बल तैनात किया गया था। वकील की दफ्तर की तरफ जाने वाली सड़क को दोनों तरफ से ब्लॉक किया गया था। इलाके की सड़कों पर भारी पुलिसबल तैनात किया गया था।
दिल्ली और भोपाल की टीम ने की थी संयुक्त कार्रवाई
जबलपुर के बड़ी ओमती इलाके को पुलिस ने सील कर दिया है। 7 स्थानों पर छापे मारे गए हैं। 4 स्थान ओमती में है, 2 गोहलपुर, और सिविल लाइंस में केंद्रीय दल ने कार्रवाई की है। मध्य प्रदेश में NIA की पूर्व में हुई कार्रवाईयों से मिले इनपुट के आधार पर टीम ने छापे मारे हैं। बताया जा रहा है कि टीम को मौके से आपत्तिजनक कुछ हथियार मिले हैं। हालांकि अभी तक किसी तरह की कोई पुष्टि नहीं हो सकी है। भोपाल और दिल्ली से आई टीम कोर्ट से सर्च वारंट लेकर छापा मारने पहुंची थी।
बड़ी तादाद में मिले थे हथियार
जबलपुर में बीते दिनों पुलिस ने हिस्ट्रीशीटर अब्दुल रज्जाक के घर पर भी दबिश दी थी। जहां बड़ी संख्या में हथियारों का जखीरा मिला था। दबिश के दौरान अब्दुल रज्जक और उसके भतीजे मोहम्मद शहबाज को गिरफ्तार कर घर की तलाशी ली गई। तलाशी के दौरान 12 बोर की पंप एक्सन गन, 12 बोर की दोनाली बंदूक, 315 बोर की रायफल, एक स्पोटिंग, 315 बोर की एक, 0.22 बोर की अमेरिकन रायफल, इटली की रायफल के अलावा 12 बोर के 8 कारतूस, 315 बोर के 2 कारतूस और 15 बकानुमा चाकू मिले थे। हिस्ट्रीशीटर रज्जाक पहलवान व उसके बेटे सरताज ने पुलिस की पूछताछ में बताया कि उसके तार पाकिस्तान से जुड़े हैं। रज्जाक के पास से जब्त किए गए मोबाइल फोन की सीडीआर में पाकिस्तानी कनेक्शन सामने आए है।
एक साल से एनआईए के रडार पर थे तीनों संदिग्ध
सैयद ममूर अली, मोहम्मद आदिल खान व मोहम्मद शाहिद पिछले 1 साल से एनआईए के रडार पर थे। तीनों के ISIS से जुड़े होने की जानकारी पिछले साल जून में ‘वॉयस ऑफ हिंद’ मॉड्यूल के खुलासे के दौरान ही मिल गई थी। इस मॉड्यूल के सरगना आमिर उमर निसार उर्फ कासिम खुरासानी के मोबाइल की जांच में सामने आया कि ममूर, आदिल व शाहिद उसके संपर्क में थे। खुरासानी की गिरफ्तार होने के बाद पकड़े जाने के डर से ये तीनों भूमिगत हो गए थे।
मॉड्यूल में बड़ी संख्या में शामिल हुए नाबालिग
जांच में सामने आया है कि ISIS के जबलपुर मॉड्यूल में 14 से 17 साल के युवाओं को नेटवर्क में शामिल किया जा रहा है। यह कानूनी शिकंजे से बचने के लिए किया जा रहा है। इन्हें सोशल मीडिया पर भड़काऊ पोस्ट को लाइक, कमेंट व शेयर करने के आधार पर टारगेट किया जा रहा है। इनमें से ज्यादा कट्टर सोच वाले लड़कों को बड़ी वारदात करने के लिए ट्रेनिंग व हथियार दिए जा रहे हैं।