LONDON. भारतीय मूल के ऋषि सुनक ने पहली बार हिंदू प्रधानमंत्री के तौर पर ब्रिटेन की सत्ता संभाल ली है। 10 डाउनिंग स्ट्रीट (ब्रिटिश पीएम का आधिकारिक आवास) में प्रवेश के दौरान उनके हाथ में पवित्र लाल हिंदू ‘कलावा’ धागा पहने देखा गया तो उनके गले में गेंदे की माला भी थी। ऑक्सफॉर्ड यूनिवर्सिटी और स्टेनफोर्ड यूनिवर्सिटी जैसे दुनिया के नामचीन एजुकेशन इंस्टीट्यूट्स से पढ़ाई करने वाले सुनक को 25 अक्टूबर को किंग चार्ल्स ने ब्रिटेन का नया प्रधानमंत्री नियुक्त किया। सुनक को अपने हिंदू होने पर गर्व है।
स्पीच के दौरान उन्होंने मौजूद लोगों का अभिवादन किया तो उनके हाथ में कलावा देखा गया। हिंदू धर्म कलावा को बहुत पवित्र माना जाता है। धार्मिक कार्यों के दौरान इसे हिंदुओं के हाथों में बांधा जाता है। हिंदू मान्यता के अनुसार, हाथ में कलावा बांधने से शत्रु पर विजय मिलती है। 42 वर्षीय ऋषि सुनक ने ब्रिटिश प्रधानमंत्री बनते ही इतिहास रच दिया और वह पहले गैर-श्वेत व्यक्ति है। नए किंग चार्ल्स III के तहत शपथ लेने वाले पहले प्रधानमंत्री भी है। ब्रिटिश उच्चायुक्त एलेक्स एलिस ने कहा कि ब्रिटेन के पहले हिंदू पीएम का चुनाव एक ऐतिहासिक क्षण है। सुनक ने 10 डाउनिंग स्ट्रीट से अपने बयान में कहा कि उन्हें पूर्व पीएम लिज ट्रस की गलतियों के लिए चुना गया है।
सुनक के नए फैसले
प्रधानमंत्री बनते ही ऋषि सुनक एक्टिव मोड में आ गए हैं. उनकी तरफ से कैबिनेट में बड़े बदलाव किए हैं। इन बदलावों ने कई बड़े संकेत दे दिए हैं। सुनक ने अपनी निजी पसंद को पीछे छोड़ते हुए कई ऐसे चेहरों को जगह दी है, जो उन्हें छोड़कर दूसरों के वफादार रहे।
जिस नाम सबसे ज्यादा ध्यान खींचा, वो सुएला ब्रेवरमैन रहीं। सुएला भारतीय मूल की हैं, लेकिन कुछ दिन पहले उन्होंने ही भारतीयों के लिए एक विवादित टिप्पणी कर दी थी। उन्होंने कहा था कि कई भारतीय प्रवासी वीजा की अवधि खत्म हो जाने के बाद भी ब्रिटेन में ही रहते हैं। ब्रिटिश लोगों ने ब्रेग्जिट से हटने के लिए इसलिए वोट नहीं दिया था कि भारतीयों के लिए ब्रिटेन की सीमा इस तरह से खोल दिया जाए। सुनक ने उन्हें एक बार फिर सुएला को गृह मंत्री बनाया है।
पीएम बनते ही सुनक ने कहा कि मैं जिस सरकार का नेतृत्व करूंगा, उसके हर स्तर पर ईमानदारी, व्यावसायिकता और जवाबदेही होगी और मैं दिन-रात काम करूंगा। मैं आपसे हमारी समस्याओं को ठीक करने में मदद करने का मौका मांग रहा हूं।
हिंदू पहचान और भारतीय जड़ों पर गर्व
ऋषि को अपने हिंदू होने और अपनी भारतीय जड़ों पर गर्व रहा है। इसीलिए वित्त मंत्री बनने के बाद पहली दिवाली मनाते हुए वह अपने आवास के बाहर भी दिवाली के दीये जलाते नजर आए थे।
सुनक का जन्म ब्रिटेन के साउथैम्प्टन में हिंदू परिवार में हुआ। उनके दादा-दादी पंजाब के रहने वाले थे। फार्मासिस्ट मां व डॉक्टर पिता के बेटे, सुनक की शिक्षा ब्रिटेन के सबसे प्रसिद्ध और महंगे स्कूलों में से एक विंचेस्टर और फिर ऑक्सफोर्ड में हुई। उन्होंने गोल्डमैन सैक्स ग्रुप में तीन साल काम किया और फिर कैलिफोर्निया के स्टैनफर्ड से एमबीए किया। यहीं उनकी अक्षता मूर्ति से मुलाकात हुई।
अब कोहिनूर वापस लेने का प्लान भी आ गया
बिजनेसमैन हर्ष गोयनका ने अपने एक ट्वीट से ब्रिटेन की राजनीति से लेकर बेंगलुरु के ट्रैफिक पर तंज कसा और सोशल मीडिया पर ऋषि सुनक से आशीष नेहरा की हो रही तुलना पर चुटकी ली। लिखा-
1. ऋषि सुनक को भारत इनवाइट करें।
2. जब वो अपने ससुराल जाने के लिए बेंगलुरु के ट्रैफिक में फंस जाए तो उनका अपहरण कर लें।
3. इसके बजाय आशीष नेहरा को यूके पीएम के रूप में भेजें। इसका किसी को पता भी नहीं चलेगा।
4. नेहरा से कहा जाएगा कि कोहिनूर लौटाने के लिए बिल पास करें।
My friend’s idea to get back #Kohinoor:1. Invite #RishiSunak to India2. Kidnap him when he is stuck in Bangalore traffic to visit his in-laws3. Send instead Ashish Nehra as UK PM. No one will realise it.4. Nehra will be told to pass the bill to return Kohinoor???? in ????????! ????????— Harsh Goenka (@hvgoenka) October 25, 2022
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