Dubai. पाकिस्तान के पूर्व परवेज मुशर्रफ (PAK Former President Parvez Musharraf) की हालत नाजुक है। वे लंबे समय से बीमार चल रहे हैं। रिपोर्ट्स की मानें तो मुशर्रफ को वेंटिलेटर सपोर्ट पर रखा गया है। मुशर्रफ को दिल और अन्य बीमारियों की वजह से अस्पताल में भर्ती कराया गया है। वे दुबई के एक अस्पताल में वेंटिलेटर पर हैं।
मुशर्रफ के करीबी और पूर्व सूचना मंत्री फवाद चौधरी ने बताया कि मुशर्रफ संयुक्त अरब अमीरात (UAE) के एक अस्पताल में भर्ती हैं। उनकी हालत नाजुक बनी हुई है। मुशर्रफ को वेंटिलेटर पर रखा गया है। इमरान खान सरकार में सूचना मंत्री रहे फवाद चौधरी एक समय में मुशर्रफ के प्रवक्ता थे। चौधरी ने कहा कि उन्होंने मुशर्रफ के बेटे बिलाल से बात की है, जिन्होंने पूर्व राष्ट्रपति के बीमार होने की पुष्टि की है।
इस बीच ऑल पाकिस्तान मुस्लिम लीग के अध्यक्ष इफजाल सिद्दीकी ने कहा कि जनरल परवेज मुशर्रफ घर पर हैं और मामूली रूप से बीमार हैं। कृपया फर्जी खबरों पर ध्यान नहीं दें। उनकी अच्छी सेहत के लिए दुआ करें।
परिवार ने ट्विटर पर दी जानकारी
हालांकि, मुशर्रफ के ट्विटर हैंडल पर शाम छह बजे एक मैसेज डाला। इसके मुताबिक, वे वेंटिलेटर पर नहीं हैं। अपनी बीमारी (एमाइलॉयडोसिस) की जटिलता के कारण पिछले तीन हफ्ते से अस्पताल में भर्ती हैं। वे इस हालत में पहुंच गए हैं, जहां से रिकवर होना संभव नहीं है। उनके कई अंग खराब हो चुके हैं। आप सभी उनके लिए दुआ करें।
मार्च 2016 में दुबई गए थे मुशर्रफ
मुशर्रफ को पूर्व प्रधानमंत्री बेनजीर भुट्टो की हत्या और लाल मस्जिद के मौलवी के मारे जाने के मामले में भगोड़ा घोषित किया गया है। पूर्व सैन्य शासक इलाज के लिए मार्च 2016 में दुबई गए थे और तब से वापस नहीं लौटे। 2001 में परवेज मुशर्रफ भारत आए थे। तब भारत में अटल बिहारी वाजपेयी प्रधानमंत्री थे। दोनों के बीच कई बातों पर सहमति बनी थी।
कोर्ट ने सुनाई है फांसी की सजा
पाकिस्तान के पूर्व सैन्य तानाशाह परवेज मुशर्रफ को विशेष अदालत ने 2019 में जद्रोह का दोषी ठहराते हुए मौत की सजा सुनाई थी। वह पाकिस्तान के इतिहास में पहले सैन्य शासक हैं, जिन्हें मृत्युदंड की सजा सुनाई गई है। वह 1999 में तत्कालीन प्रधानमंत्री नवाज शरीफ को अपदस्थ कर सत्ता पर काबिज हुए और 2008 तक सत्ता संभाली। मुशर्रफ पाकिस्तान के राष्ट्रपति रहने के अलावा पाकिस्तान की सेना के मुखिया भी रह चुके हैं। करगिल की लड़ाई के लिए मुशर्रफ को ही सीधे तौर पर जिम्मेदार ठहराया जाता है। उन्होंने नवाज शरीफ का तख्तापलट किया था।
2013 में देशद्रोह का मामला दर्ज हुआ था
मुस्लिम लीग-नवाज (PML-N) सरकार ने पूर्व-सेना प्रमुख के खिलाफ नवंबर 2007 में अतिरिक्त संवैधानिक आपातकाल लगाने के खिलाफ 2013 में देशद्रोह का मामला दर्ज किया था, जिसके चलते कई जजों को जेल में डाल दिया गया था। साथ ही 100 से ज्यादा जजों की बर्खास्तगी की गई थी।