Kathmandu. नेपाल के पोखरा में 15 जनवरी को येति एयरलाइंस का विमान दुर्घटनाग्रस्त हुआ था। हादसे में 5 भारतीयों समेत 72 यात्रियों की मौत हो गई थी। इस प्लेन क्रेश की प्राइमरी रिपोर्ट सामने आई है, रिपोर्ट में यह खुलासा हुआ है कि फ्लाइंग पायलट ने लैंडिंग के लिए कॉकपिट में लगे फ्लैप लीवर की जगह गलती से इंजन की पावर सप्लाई बंद कर दी थी। रिपोर्ट में यह भी लिखा है कि जब एयर ट्रैफिक कंट्रोलर ने लैंडिंग के लिए मंजूरी दी, तब पायलट ने दो बार यह कहा था कि इंजन में कोई पावर सप्लाई नहीं हो रही है। काठमांडू के त्रिभुवन एयरपोर्ट से निकली येति एयरलाइंस की फ्लाइट 691 लैंडिंग से कुछ सेकंड्स पहले पोखरा के पुराने और नए एयरपोर्ट के बीच सेती नदी में गिर गई थी।
दोनों इंजनों के प्रोपेलर फैदर कंडीशन में थे
14 पेज की रिपोर्ट में कहा गया है कि दोनों इंजनों के प्रोपेलर्स का फैदर कंडीशन में आना दुर्लभ है। यही वजह थी कि शायद पायलट ने कंट्रोल खो दिया और प्लेन खाई में जा गिरा। रिपोर्ट में लिखा है कि पायलट ने 10ः56 पर लैंडिंग के लिए फ्लैप 15 का लैंडिंग गियर को नीचे कर दिया। इसके 15 सेकंड बाद फ्लाइंग पायलट ने जमीन से 721 फीट ऊपर ऑटोपायलट को डिएक्टिवेट कर दिया। काठमांडू पोस्ट के मुताबिक जांच दल के एक सदस्य ने कहा कि उन्हें दुर्घटना स्थल पर लीवर को नीचे खिंचा हुआ मिला था। वे यह पता नहीं लगा सकते कि इससे पहले क्या हुआ था। साथ ही यह भी कहा कि वे विस्तृत रिपोर्ट का इंतजार कर रहे हैं।
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लगातार तीसरी उड़ान पर था क्रू
लैंडिंग करने वाली पायलट अंजू खातीवाड़ा थीं, जो एयरलाइन की 6 महिला पायलटों में से एक थीं। उनके पति दीपक पोखरेल भी 2006 में एक दुर्घटना में मारे गए थे। अंजू के साथ एक ट्रेनी पायलट भी था। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक फ्लाइट के क्रू ने 15 जनवरी की सुबह काठमांडू और पोखरा के बीच पहले दो उड़ानें भरीं थीं। हादसे वाली फ्लाइट 691 इसी क्रू की लगातार तीसरी उड़ान थी। नेपाल का नाम दुनिया में सबसे खराब एविएशन सेफ्टी में शुमार है।