दुनिया का पहला 3D प्रिंटेड रॉकेट मिशन फेल, टेरेन-1 रॉकेट में ऑर्बिट में जाने से पहले हुई गड़बड़ी; तीसरी कोशिश में हुई थी लॉन्चिंग

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Rahul Garhwal
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दुनिया का पहला 3D प्रिंटेड रॉकेट मिशन फेल, टेरेन-1 रॉकेट में ऑर्बिट में जाने से पहले हुई गड़बड़ी; तीसरी कोशिश में हुई थी लॉन्चिंग

इंटरनेशनल डेस्क. दुनिया का पहला 3D प्रिंटेड रॉकेट मिशन फेल हो गया। 3D प्रिंटेड रॉकेट टेरेन-1 को फ्लोरिडा के केप कैनवरल से लॉन्च किया गया था, लेकिन ये ऑर्बिट में पहुंचने से पहले ही फेल हो गया। इस रॉकेट में 9 3D प्रिंटेड इंजन लगाए गए थे। रॉकेट में फ्यूल के रूप में लिक्विड मीथेन का इस्तेमाल किया गया था। टेस्ट फ्लाइट का नाम गुड लक हैव फन रखा गया था।







— New Scientist (@newscientist) March 23, 2023





पहली स्टेज में कामयाबी के बाद फेल हुआ रॉकेट







— Justin Hobbs (@YourWXJustin) March 23, 2023




3D प्रिंटेड रॉकेट टेरेन-1 पहली स्टेज में कामयाब रहा। रॉकेट वो स्टेज भी पार कर ली जिसमें सबसे ज्यादा लोड रहता है। वहीं 4  स्टेज-2 में जाने से पहले रॉकेट में कुछ गड़बड़ी हो गई। रॉकेट लॉन्चिंग के डायरेक्टर ने इसकी सूचना वेबकास्ट पर दी। इसके बाद रॉकेट फेल हो गया। किस वजह से गड़बड़ी हुई इसका पता नहीं चल पाया है।






3D मेटल प्रिंटर्स से बनाया गया था, तीसरी कोशिश में हुआ था लॉन्च







— Stephen Clark (@StephenClark1) March 23, 2023





टेरेन-1 रॉकेट को 3D मेटल प्रिंटर्स से बनाया गया था। ये रॉकेट 110 फीट चौड़ा है। इसका 85 प्रतिशत हिस्सा 3D प्रिंटेड है। ये रॉकेट तीसरी कोशिश में लॉन्च हुआ था। पहले इसकी लॉन्चिंग 8 मार्च को होने वाली थी, लेकिन तापमान में परेशानी होने की वजह से 11 मार्च को लॉन्च करने का फैसला किया गया। 11 मार्च को फ्यूल प्रेशर में परेशानी होने की वजह से लॉन्चिंग दोबारा टली, इसके बाद अब तीसरी कोशिश में इसे लॉन्च किया गया था। ये रॉकेट पृथ्वी के लोअर ऑर्बिट में 1250 किलो का वजन ले जाने में सक्षम है।



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