इन 12 देशों में टैक्स नहीं देना पड़ता, Tax Heaven Country कहलाते हैं, इनमें से कई गल्फ, कैरिबियाई और टूरिस्ट प्लेस

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Atul Tiwari
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इन 12 देशों में टैक्स नहीं देना पड़ता, Tax Heaven Country कहलाते हैं, इनमें से कई गल्फ, कैरिबियाई और टूरिस्ट प्लेस

NEW DELHI. दुनिया के ज्यादातर देशों में टैक्स आय का मुख्य स्रोत होता है। सरकारें टैक्स लेती हैं और इसी से विकास के काम होते हैं। अलग-अलग देशों में लोगों से कई रूप में टैक्स लिया जाता है, लेकिन इसमें लोगों की कमाई पर लगने वाला इनकम टैक्स काफी अहम होता है। भारत समेत कई देशों में लोगों को काफी मोटी रकम इनकम टैक्स के रूप में चुकानी पड़ती है। क्या आप जानते हैं कि दुनिया में कुछ ऐसे भी देश हैं, जिनमें लोगों से इनकम टैक्स नहीं लिया जाता। 





1. बहामास





पर्यटकों के लिए जन्नत कहा जाने वाल बहमास, कैरिबियन सागर द्वीप समूह में स्थित है। इस देश की खास बात है कि यहां रहने वाले नागरिकों को इनकम टैक्स नहीं देना पड़ता।





2. यूएई





संयुक्त अरब अमीरात (UAE) खाड़ी क्षेत्र में सबसे अमीर देशों में से एक है। यूएई की अर्थव्यवस्था तेल और टूरिज्म की वजह से काफी मजबूत है। इसी वजह से यूएई में लोगों को इनकम टैक्स से राहत दी गई है। 





3. बहरीन





खाड़ी देश बहरीन में भी नागरिकों को अपनी कमाई पर किसी भी तरह के टैक्स देने की जरूरत नहीं है। बहरीन में सरकार की ओर से जनता से टैक्स नहीं वसूला जाता है.





4. ब्रुनेई





तेल के भंडार वाला ब्रुनेई इस्लामिक किंगडम दुनिया के साउथ ईस्ट एशिया में पड़ता है। यहां लोगों को किसी भी तरह का इनकम टैक्स नहीं चुकाना पड़ता। 





5. केमैन आइलैंड्स





केमैन आइलैंड्स देश उत्तर अमेरिका महाद्वीप में कैरिबियन क्षेत्र में पड़ता है। यह पर्यटकों को भी खूब रास आता है। काफी लोग यहां छुट्टियां मनाने पहुंचते हैं. सबसे खास बात है कि इस देश में किसी को भी इनकम टैक्स नहीं देना पड़ता। 





6. कुवैत





खाड़ी क्षेत्र में पड़ने वाला बड़ा तेल निर्यातक देश कुवैत में भी बहरीन की तरह नागरिकों से किसी भी तरह का इनकम टैक्स नहीं वसूला जाता।





7. ओमान 





बहरीन और कुवैत के अलावा खाड़ी देश ओमान भी इस लिस्ट में शामिल है। ओमान के जो नागरिक हैं, उन्हें इनकम टैक्स नहीं देना पड़ता। यही वजह ओमान का मजबूत ऑयल और गैस सेक्टर माना जाता है।





8. कतर 





कतर भी अपने ऑयल सेक्टर में काफी मजबूत है। यह छोटा देश है, लेकिन यहां रहने वाले काफी अमीर हैं। यहां पर भी इनकम टैक्स नहीं वसूला जाता।





9. मालदीव 





भारत ही नहीं बल्कि दुनियाभर से लोग मालदीव घूमने के लिए पहुंचते हैं। समुद्री किनारे बसा मालदीव बेस्ट टूरिस्ट डेस्टिनेशंस में से एक कहा जाता है। मालदीव में भी नागरिकों को इनकम टैक्स नहीं देना पड़ता।





10. मोनाको





यूरोप का मोनाको देश काफी छोटा है। इसके बावजूद भी यहां के नागरिकों से कभी भी इनकम टैक्स नहीं वसूला जाता।





11. नौरू





नौरू दुनिया का सबसे छोटा द्वीप राष्ट्र कहा जाता है, जिसका क्षेत्रफल सिर्फ 8.1 वर्ग मील है। नौरू में भी लोगों से इनकम टैक्स नहीं लिया जाता।





12. सोमालिया





ईस्ट अफ्रीकी देश सोमालिया भी टैक्स फ्री है। हालांकि, सोमालिया की और चीजों में हालात इतनी खराब हैं कि किसी के रहने के लिए बेहतर चॉइस बिल्कुल नहीं है।





ये होते हैं टैक्स हैवन 







  • टैक्स हैवन (Tax Haven) देश उन्हें कहा जाता है, जहां अन्य देशों की अपेक्षा बहुत कम कर लगता है या बिल्कुल नहीं लगता। ये ऐसे देश होते हैं, जो विदेशी नागरिकों, निवेशकों और कारोबारियों को यह सुविधा प्रदान करते हैं कि वे उस देश में रहकर जो व्यवसाय या निवेश करेंगे या वहां किसी उद्यम को स्थापित करेंगे तो उस पर उनको कर नहीं देना होगा या कर की दरें बहुत ही कम होंगी।



  • ऐसे देश टैक्स में किसी प्रकार की पारदर्शिता नहीं रखते, ना ही किसी प्रकार की वित्तीय जानकारी को साझा करते हैं। ये देश उन लोगों के लिये स्वर्ग (हैवन) के समान हैं, जो टैक्स चोरी करके पैसे इन देशों में जमा कर देते हैं।


  • ऐसे देशों में पैसे जमा करने पर वे पैसे जमा करने वाले व्यक्ति या संस्था के बारे में कुछ भी नहीं पूछते। यही कारण है कि टैक्स चोरों के लिये ऐसे देश स्वर्ग जैसे होते हैं, जो अपने देश से पैसे लाकर इन देशों में काले धन के रूप में जमा कर देते हैं।






  • टैक्स हैवन इन समस्याओं को जन्म देते हैं







    • टैक्स हैवन से वैश्विक स्तर पर टैक्स चोरी को बढ़ावा मिलता है, जिससे काले धन की समस्या में लगातार इजाफा होता है।



  • टैक्स हैवन के कारण घरेलू स्तर पर टैक्स वसूलने पर प्रभाव पड़ता है। दूसरे शब्दों में कहें तो कम टैक्स जमा होता है। इससे संबंधित देश के रेवेन्यू संग्रह में कमी आती है। साथ ही पैसे का देश से बाहर की ओर प्रवाह बढ़ता है, जिससे देश में वित्तीय अस्थिरता और वित्तीय नियंत्रण में कमी जैसी समस्याएं होती होती हैं।


  • टैक्स हैवन में टैक्स की दरों के कम या नगण्य होने के कारण शेल कंपनियों को बढ़ावा मिलता है, जिससे वैश्विक अर्थव्यवस्था पर नकारात्मक प्रभाव पड़ता है।


  • इसके कारण वैश्विक स्तर पर मनी लॉड्रिंग, राउंड ट्रिपिंग जैसे आर्थिक अपराधों को बढ़ावा मिलता है। 




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