Bilaspur. हाईकोर्ट ने IPS मुकेश गुप्ता के खिलाफ राज्य सरकार की याचिका को स्वीकार कर लिया है। हाईकोर्ट ने इस मामले में आदेश को रिज़र्व कर लिया था जिसे आज सार्वजनिक किया है।राज्य सरकार की याचिका को स्वीकार करने का मतलब है कि, अब IPS मुकेश गुप्ता ADG पद से रिटायर होंगे। दो दिन बाद मुकेश गुप्ता रिटायर हो जाएँगे।हालाँकि IPS मुकेश गुप्ता के पास अभी सुप्रीम कोर्ट का विकल्प बचा हुआ है।
क्या था मामला
IPS मुकेश गुप्ता को डॉ रमन सिंह कार्यकाल में ADG से DG पद पर पदोन्नति दी गई थी। जब भूपेश बघेल सरकार आई तो उसने यह पदोन्नति नियम विरुद्ध बताते हुए वापस ले ली।IPS मुकेश गुप्ता इस आदेश के खिलाफ कैट चले गए और वहाँ से उनके पक्ष में आदेश हो गया। कैट ने यह माना कि IPS मुकेश गुप्ता का प्रमोशन सही था। इस आदेश के खिलाफ भूपेश सरकार हाईकोर्ट पहुँच गई और DG से ADG के रिवर्ट किए जाने के आदेश को सही बताते हुए कैट के खिलाफ अपील की। चीफ़ जस्टिस अरुप गोस्वामी और जस्टिस दीपक तिवारी की बैंच ने इसकी सुनवाई करते हुए फ़ैसला रिज़र्व कर दिया था, इसे आज सार्वजनिक किया गया है।
राज्य की अपील का आधार यह था
IPS मुकेश गुप्ता के DG पदोन्नति को रिवर्ट कर ADG बनाए जाने को लेकर भूपेश सरकार का तर्क था कि जबकि IPS मुकेश गुप्ता को पदोन्नति दी गई तब राज्य में DG का पद ही सृजित नहीं था।केंद्र सरकार से पद की स्वीकृति ही नहीं थी, इसलिए उन्हें वापस ADG बनाने का राज्य सरकार का निर्णय सही था। हाईकोर्ट ने राज्य सरकार की यह याचिका स्वीकार ली है, इसके मायने यह हैं कि IPS मुकेश गुप्ता को कैंट से मिली राहत शून्य हो गई है, और उन्हें ADG पद से फ़िलहाल रिटायर होना होगा।
सुप्रीम कोर्ट जाने का विकल्प मौजूद
दबंग और बेहद तेज तर्रार पुलिस अधिकारियों में गिने जाने वाले IPS मुकेश गुप्ता को तीस सितंबर को रिटायर होना है। ज़ाहिर है उनके पास बेहद कम समय है, या कि ये तय है कि उन्हें ADG पद से रिटायर होना होगा। लेकिन उनके पास सर्वोच्च न्यायालय जाने का विकल्प मौजूद है, और जैसा इस खुर्राट तबियत अधिकारी का अंदाज रहा है यह शर्तिया तय है कि, वे सुप्रीम कोर्ट जाएँगे।