शिवम दुबे, RAIPUR. राजधानी में चौपाटी को लेकर गरमाई सियासत अब न्यायालय पहुंच चुकी है। जिसमें आज सुनवाई हुई और सुनवाई के दौरान दोनों पक्षों के वकील ने अपना-अपना पक्ष रखा है। आपको बता दें कोर्ट के सवाल पर स्मार्ट सिटी लिमिटेड के वकील ने न्यायालय से पूरी याचिका पर जवाब देने के लिए समय मांगा। जिसके बाद हाईकोर्ट ने 7 दिन में जवाब मांगा है। जिसके बाद मामले में अगली सुनवाई 16 जनवरी यानी कि अगले सोमवार को होगी।
एजुकेशनल परपज के लिए जमीन तो क्यों किया गया ये निर्माण?
हाई कोर्ट के वकील प्रदीप मिश्रा ने द सूत्र से खास बातचीत करते हुए आज की सुनवाई की जानकारी दी है। प्रदीप मिश्रा ने बताया कि आज हाईकोर्ट की मुख्य न्यायाधीश और न्यायधीश अरविंद सिंह चंदेल के डिवीज़न बेंच में मामले की सुनवाई हुई। जिसमें स्मार्ट सिटी लिमिटेड के वकील से बेंच ने यह सवाल पूछा कि जब वह जमीन एजुकेशनल परपज के लिए है, तो उसमें यह निर्माण क्यों किया गया है? जिसका जवाब देने के लिए स्मार्ट सिटी लिमिटेड के वकील ने हाईकोर्ट से समय मांगा। जिसके बाद कोर्ट ने स्मार्ट सिटी लिमिटेड को जवाब देने के लिए 7 दिन का समय दिया है।
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एजुकेशन जोन में नहीं कर सकते हैं मार्केट निर्माण, इसलिए लगाई याचिका
एडवोकेट प्रदीप मिश्रा ने बताया की यह याचिका 30 दिसंबर को लगाई गई थी और मास्टर प्लान के अंतर्गत जिस फेस में यह चौपाटी का निर्माण हो रहा है। वह एजुकेशनल परपज के लिए रिजर्व है और इस निर्माण के चलते रोड भी संकरी हो जाएगी। इसके अलावा यह भी प्रावधान है कि इस एजुकेशनल जोन में आप मार्केट का निर्माण नहीं कर सकते। हमारी अपेक्षा यह है कि इस पूरे निर्माण को रोक दिया जाए और इसे अवैध करार दे दिया जाए साथ ही इस जगह को पूर्व स्थिति कर दिया जाए।
हमें न्यायालय पर पूरा यकीन: राजेश मूणत
चौपाटी को लेकर अनिश्चितकालीन धरने पर बैठे पूर्व मंत्री राजेश मूणत ने कहा है कि हमें न्यायालय पर पूरा यकीन है। भाजपा लगातार इस मामले को लेकर धरना दे रही है। इस पूरे निर्माण में टाउन एंड कंट्री प्लानिंग के नियमों का उल्लंघन हुआ है। नगर निगम रायपुर ने स्मार्ट सिटी के फंड का दुरुपयोग किया है और जनता को गुमराह किया है। हम यूथ हब का विरोध नहीं कर रहे हैं, हम ठेला गुमटी का विरोध कर रहे हैं।