याज्ञवल्क्य मिश्रा, RAIPUR. सीएम भूपेश बघेल की उप सचिव सौम्या चौरसिया की जमानत याचिका रायपुर कोर्ट ने खारिज कर दी है। ADJ अजय राजपूत ने जमानत आवेदन खारिज करते हुए लिखा है कि, आरोपी महिला प्रभावशाली है और साक्ष्य प्रभावित कर सकती है, इसलिए जमानत आवेदन खारिज किया जाता है।
कल से जारी थी बहस
राज्य प्रशासनिक सेवा की निलंबित अधिकारी सौम्या चौरसिया की जमानत याचिका पर कल से सुनवाई जारी थी। कल दोपहर तीन बजे इस मामले में बहस शुरू हुई थी। सौम्या चौरसिया की ओर से बहस सुप्रीम कोर्ट के वरिष्ठ अधिवक्ता सुरेंद्र सिंह ने की। करीब सवा दो घंटे की बहस के दौरान सौम्या चौरसिया की ओर से यह दलील दी गई कि, उनका नाम शेड्यूल अफेंस में नहीं है। सौम्या चौरसिया की ओर से वरिष्ठ अधिवक्ता ने कोर्ट में कहा कि, वे महिला हैं, उनके छोटे बच्चे हैं, उन्हें राजनैतिक कारणों से फंसाया गया है।
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सौम्या ने धन अर्जित किया और रिश्तेदारों के नाम संपत्ति बनाई
सौम्या चौरसिया के खिलाफ ईडी की कार्यवाही को भी कोर्ट में प्रश्नांकित किया गया। कल ही कोर्ट ने ईडी को आज 11 बजे तर्क और जवाब देने के निर्देश दिए थे। ईडी की ओर से विशेष अभियोजक सौरभ पांडे ने इस मामले में ज़मानत याचिका का विरोध किया, और कोर्ट से कहा कि, सौम्या चौरसिया का ही वह प्रभाव था, जिस वजह से पूरा कोल स्कैम हुआ। वे बेहद प्रभावशाली महिला हैं। उन्होंने इससे धन अर्जित किया और रिश्तेदारों के नाम संपत्ति बनाई।
बोली कोर्ट- जमानत आवेदन खारिज किया जाता है
पूरे बहस के बाद शाम क़रीब पाँच बजे रायपुर की स्पेशल कोर्ट ने सौम्या चौरसिया की ज़मानत याचिका ख़ारिज कर दी है। ईडी के विशेष लोकअभियोजक सौरभ पांडेय ने इसकी पुष्टि करते हुए बताया है कि न्यायाधीश अजय सिंह राजपूत ने आदेश में लिखा “सौम्या चौरसिया बेहद प्रभावशाली महिला हैं, वे साक्ष्यों को प्रभावित कर सकती हैं। अतः जमानत आवेदन खारिज किया जाता है।”
क्या है मसला
ईडी का आरोप है कि, छत्तीसगढ़ में 25 रुपए प्रति टन के हिसाब से अवैध वसूली की जा रही थी।इसे सूर्यकांत तिवारी मैदान में अंजाम दे रहा था, लेकिन इसे पूरी ताक़त सीएमओ में पदस्थ सीएम भूपेश बघेल की उप सचिव सौम्या चौरसिया से मिल रही थी। ईडी ने सौम्या चौरसिया को दो दिसंबर को गिरफ़्तार कर लिया था।