Indore: ऑनलाइन धोखाधड़ी करने वाले गिरोह का पर्दाफाश, 1 गिरफ्तार 

author-image
Vivek Sharma
एडिट
New Update
Indore: ऑनलाइन धोखाधड़ी करने वाले गिरोह का पर्दाफाश, 1 गिरफ्तार 

Indore: राज्य साइबर सेल ने ऑनलाइन खाते से 22 लाख रुपये उड़ाने वाले गिरोह के एक सदस्य सहित अन्य को गिरफ्तार किया है। आरोपी पांच सौ रुपये का लालच देकर लोगों के बैंक खाते खुलवाकर उनका उपयोग करता था। उसे इसके एवज में प्रति खाता पांच हजार रुपये मिलते थे। इन खातों का उपयोग ठगी के रुपये रखने के लिए होता और एटीएम कार्ड के आधार पर बाद में रुपये निकाल लिए जाते। पुलिस के हाथ एक दर्जन से अधिक खातों की जानकारी लगी है वहीं ठगी के तार मुंबई तक जुड़ रहे हैं। मामले में आगे अन्य आरोपियों के गिरफ्तार होने की बात भी पुलिस अफसरों ने कही है।



राज्य साइबर सेल एसपी जितेंद्र सिंह के मुताबिक 18 मार्च 2022 को कार्यालय में फोर्स मोटर पीथमपुर से रिटायर्ड हुए फरियादी ने शिकायती आवेदन दिया था। जिसके तहत आवेदक के एचडीएफसी बैंक के खाते से लगभग 22 लाख रुपये अज्ञात व्यक्ति ने धोखाधड़ीपूर्वक ऑनलाइन ट्रांसफर कर लिए थे। मामले में आरोपित पर धोखाधड़ी का केस दर्ज कर जांच शुरू की गई। संदिग्ध बैंक खाते और मोबाइल नंबर के नाम पते की तस्दीक के लिए एक टीम जबलपुर भेजी गई। इस पर संदिग्ध यूनियन बैंक आफ इंडिया के खातेधारक आरोपित वीरेंद्र ठाकुर निवासी कटरा मोहल्ला पाटन जिला जबलपुर से पूछताछ की गई। जिस पर उसने बताया कि 500 रुपये के लालच में उसने बैंक खाता खुलवाकर आरोपित ऋषभ जैन निवासी पाटन जबलपुर को दिया था।



लालच देकर खुलवाते थे बैंक खाते



इस पर पुलिस की टीम ने ऋषभ को पकड़ा और पूछताछ की तो उसने बताया कि वह रेलवे में एसी कोच में अटेंडर की नौकरी करता था। प्रिंस नाम के व्यक्ति से उसकी वाट्सएप काल व मैसेज के माध्यम से बातचीत शुरू हुई। बाद में प्रिंस ने फोन पर बात की और बैंक खाते खुलवाकर देने पर प्रति खाता पांच हजार रुपये देने का प्रलोभन दिया। इसके बाद ऋषभ ने कई लोगों के बैंक खाते खुलवाकर प्रिंस को दिए। ऋषण खाते खुलवाने के लिए जान पहचान के लोगों के अलावा, मजदूर, गरीब व अनपढ़ लोगों से संपर्क करता था।



आरोपित बैंक खाते में रजिस्टर्ड मोबाइल नंबर की सिम भी खाता धारक से खरीदवाकर खुद रख लेता था। आरोपी ऋषभ दसवीं तक पढ़ा हुआ है। ऋषभ के खाते में भी कुछ रुपये डाले गए। ऋषभ कोरियर के माध्यम से प्रिंस को बैंक खाते की पासबुक, एटीएम कार्ड व रजिस्टर्ड मोबाइल नंबर भेजता था। पुलिस ने ऋषभ के पास से मोबाइल फोन, सिम व अन्य खाताधारकों के बैंक खातों के दस्तावेजों की फोटोकापी जब्त की है। जांच में यह सामने आया है कि ऋषभ ने प्रिंस नामक व्यक्ति को बैंक खातों की जानकारी भेजी। इसके बाद संबंधित बैंक के एटीएम के जरिए रुपये मुंबई से निकाले गए। आगे और भी आरोपियों की गिरफ्तारी होगी। वहीं ऋषभ से करीब 15 लोगों के बैंक खातों की जानकारी मिली है, जो उसने पांच सौ रुपये देकर खुलवाए थे। इन खातों में कितना लेन-देन हुआ, इसकी जानकारी जुटाई जा रही है।


online fraud Cyber ​​fraud धोखाधड़ी state cyber cell राज्य साइबर सेल ठगी atm card बैंक खाता online fraud gang 22 lakh fraud suspicious bank accounts 22 लाख की धोखाधड़ी एटीएम कार्ड ऑनलाइन फ्रॉड बैंक खातों से लाखों उड़ाए