गिरधारी, जगतगुरु, मोहन, चक्रधारी, माखनचोर कहें या रणछोड़ ना जाने कितने नामों से लीलाधर को जाना जाता है। भगवान कृष्ण ( Lord Krishna ) के कितने नाम हैं, उतनी ही श्रीहरि की कहानियां हैं। जीवन जीने के तरीके से लेकर न्याय और धर्म को अपने विभिन्न स्वरूपों से श्री कृष्ण ने परिभाषित किया है। संसार से वैराग्य को सिरे से नकारा है कर्म का कोई विकल्प नहीं, ये सिद्ध किया। भगवान कृष्ण कहते हैं, मैं हर हाल में आता हूं...
भगवान श्री कृष्ण की 10 बड़ी बातें
1. जीवन संघर्ष है
भगवान कृष्ण का जीवन कहता है, आप कोई भी हों, अगर दुनिया में आए हैं तो संघर्ष हमेशा करना पड़ेगा। उन्होंने अपने नर लीला में ये बताने की कोशिश की हैं कि यदि परमात्मा भी मानव जीवन में आता है तो उसे भी सांसारिक चुनौतियों से सामना करना पड़ेगा। कृष्ण कहते हैं परिस्थितियों से भागना मत, उससे लड़ों।
2.शिक्षा, व्यक्तित्व का विकास करे
श्री कृष्ण ने अपनी शिक्षा उज्जैन में सांदीपनि आश्रम रहकर पूरी की थी। मान्यता है लीलाधर ने 64 दिन में उन्होंने 64 कलाओं का ज्ञान हासिल कर लिया था। श्री कृष्ण का मानना था कि शिक्षा ऐसी ही होनी चाहिए जो हमारे व्यक्तित्व का विकास करे।
3.रिश्ता इंसान की सबसे बड़ी धरोहर
श्री कृष्ण (Sri Krishna ) ने जिसे अपना माना उसका हमेशा साथ दिया। रिश्तों के लिए उन्होंने कई लड़ाइयां लड़ीं और जीती। रिश्तों को लेकर उनका संदेश था इंसान की सबसे बड़ी धरोहर रिश्ता है।
4. कृष्ण ने नारी को बताया शक्ति
राक्षस नरकासुर के आतंक से भगवान श्रीकृष्ण ने करीब 16 हजार महिलाओं को मुक्त कराया था। उन्होंने नरकासुर का वध करके सभी महिलाओं को आजाद कराया और बाद में सामाजिक कुरीतियों के चलते सभी महिलाओं को अपनी पत्नी का दर्जा भी दिया। भगवान कृष्ण ने नारी नारी को शक्ति बताते हैं।
5. विकास का एक मात्र मार्ग शांति
भगवान कृष्ण ने महाभारत युद्ध ( mahabharata war ) के पहले शांति से समझौता का बहुत प्रयास किया लेकिन युद्ध नहीं टला। मोहन कहते हैं कि झगड़ों से कभी समस्याओं का समाधान नहीं होता है। शांति के मार्ग पर चलकर ही हम समाज का विकास कर सकते हैं।
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