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NEW DELHI. रिपोर्ट के मुताबिक, दुनिया भर के जॉब मार्केट में साल 2027 तक आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस और मशीन लर्निंग से 38%, डाटा एनालिस्ट और साइंटिस्ट्स से 33% और डेटा एंट्री क्लर्क सेगमेंट में 32% जॉब आ सकता है।
वैश्विक स्तर पर रोजगार बदलने की दर 23% रहने का अनुमान
भारतीय रोजगार बाजार में अगले पांच वर्षों में रोजगार में बदलाव की दर 22 प्रतिशत रहने का अनुमान है। एक नए अध्ययन में सोमवार को बताया गया कि इसमें कृत्रिम मेधा (एआई), मशीन लर्निंग और डेटा खंड शीर्ष पर रहेंगे। विश्व आर्थिक मंच (डब्ल्यूईएफ) ने अपनी ताजा "रोजगार का भविष्य" रिपोर्ट में कहा कि वैश्विक स्तर पर रोजगार बदलने की दर (चर्न) 23 प्रतिशत रहने का अनुमान है।
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एक चौथाई नौकरियां अगले पांच वर्षों में बदलेंगी
रिपोर्ट में कहा गया है कि अगले पांच सालों में 6.9 करोड़ नए रोजगार के मौके तैयार होने की उम्मीद है, जबकि 8.3 करोड़ पद समाप्त होंगे। डब्ल्यूईएफ ने कहा, "लगभग एक चौथाई नौकरियां (23 फीसदी) अगले पांच वर्षों में बदलेंगी।" रिपोर्ट के लिए 803 कंपनियों के बीच सर्वेक्षण किया गया।
डेटा एंट्री क्लर्क सेगमेंट में 32% नई नौकरियों का अनुमान
रिपोर्ट में कहा गया है कि जिन सेक्टर में नौकरियों की भरमार होने वाली है, उनमें आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस समेत मशीन लर्निंग और डेटा सेगमेंट का बड़ा योगदान है। रिपोर्ट के मुताबिक, दुनिया भर के जॉब मार्केट में साल 2027 तक आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस और मशीन लर्निंग से 38 प्रतिशत, डाटा एनालिस्ट और साइंटिस्ट्स से 33 प्रतिशत और डेटा एंट्री क्लर्क सेगमेंट में 32 प्रतिशत नई नौकरियां पैदा होने का अनुमान है।