नई दिल्ली. वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण लोकसभा में 2022-23 के लिए बजट पेश कर रही हैं। उन्होंने कहा कि सबसे प्रयास से मजबूत विकास को जारी रखेंगे। कोरोना संकट के बीच हमारे टीकाकरण अभियान की गति ने बहुत मदद की है। भारत की विकास दर 9.27% रहने का अनुमान है। सबसे पहले सीतारमण मंत्रालय पहुंचीं और फिर राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद से मुलाकात की। मोदी सरकार में वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण का ये चौथा बजट है।
बजट भाषण की खास बातें
अगले 100 का ब्लू प्रिंट
सबसे पहले मैं उन लोगों के लिए संवेदना जाहिर करती हूं, जिन्होंने कोविड महामारी में परेशानी झेली। हम आजादी का अमृत महोत्सव मना रहे हैं और यह अमृतकाल का बजट है, जो अगले 25 साल की बुनियाद रखेगा। आजादी के 75 साल में 100 साल तक का ब्लू प्रिंट पेश कर रही हूं।
2022-23 के बीच नैशनल हाईवे की लंबाई को 25,000 km तक बढ़ाया जाएगा। पहाड़ी क्षेत्रों के पर्वतमाला रोड को PPP मोड पर लाया जाएगा।
अगले 3 सालों में 400 नई वंदे भारत ट्रेनें तैयार की जाएंगी। इसके साथ ही अगले तीन सालों में 100 पीएम गति शक्ति कार्गो टर्मिनल तैयार किए जाएंगे, साथ ही 8 नई रोपवे बनाए जाएंगे।
बजट से किसान, युवाओं को फायदा होगा। आत्मनिर्भर भारत से 16 लाख युवाओं को नौकरियां दी जाएंगी।
एक क्लास एक टीवी चैनल को 12 से बढ़ाकर 200 टीवी चैनल किया जाएगा। इसके अलावा डिजिटल यूनिवर्सिटी की स्थापना होगी। मानसिक समस्याओं के लिए नेशनल टेलीमेंटल हेल्थ प्रोग्राम भी शुरू होगा।
नए घर बनाएंगे, खेती के लिए भी टेक्नोलॉजी
एयर इंडिया का विनिवेश (Disinvestment) पूरा हो गया है। LIC का IPO जल्द आएगा।
North East के विकास के लिए योजना लॉन्च होगी। इससे वहां के लोगों का जीवन स्तर सुधरेगा।
पीएम आवास योजना के तहत 80 लाख मकान बनाए जाएंगे। इनके लिए 48 हजार करोड़ का फंड रखा गया है।
खेती में भी तकनीक का इस्तेमाल होगा। किसान ड्रोन का इस्तेमाल करेंगे। इससे फसल मूल्यांकन, भूमि अभिलेख, कीटनाशकों का छिड़काव किया जाएगा।
ई-व्हीकल के लिए सुविधा, युवाओं को नौकरियां
बड़े पैमाने पर ई-व्हीकल के चार्जिंग स्टेशन नहीं मिल पाते, क्योंकि जगह की कमी होती है। इसलिए बैटरी अदला-बदली पॉलिसी लाई जाएगी।
E-passports (चिप वाले पासपोर्ट) 2022-23 से ही जारी किए जाएंगे। इससे नागरिकों के लिए सुविधाएं बढ़ेंगी।
आत्मनिर्भर भारत से 60 लाख युवाओं के लिए नौकरियों के अवसर तैयार करेंगे।
5G की लॉन्चिंग के लिए स्कीम लाई जाएगी। सभी गांवों, लोगों तक इंटरनेट की पहुंच होनी चाहिए। इसी साल 5G सर्विस शुरू हो जाएगी।
भुगतान में देरी को कम करने के लिए एक ऑनलाइन बिल सिस्टम शुरू किया जाएगा और सभी केंद्रीय मंत्रालय इसका इस्तेमाल करेंगे।
रक्षा और सुरक्षा
सुरक्षा और क्षमता वृद्धि के लिए 2,000 किमी रेल नेटवर्क को स्वदेशी तकनीक कवच के तहत लाया जाएगा।
रक्षा क्षेत्र में आत्मनिर्भर भारत को बढ़ावा दिया जाएगा। कुल खरीदी बजट में से 68% को घरेलू बाजार से खरीदी पर खर्च किया जाएगा। इससे रक्षा उपकरणों के आयात (Import) पर निर्भता कम होगी। पिछले वित्त वर्ष से यह 58% ज्यादा है।
क्रिप्टो करेंसी पर बड़ा ऐलान
RBI इसी साल अपनी डिजिटल करेंसी लॉन्च करेगा। इसके लिए ब्लॉकचेन और अन्य टेक्नोलॉजी का इस्तेमाल होगा।
राज्यों की मदद के लिए 1 लाख करोड़ रुपये दिए जाएंगे। इसमें राज्यों को 50 साल के लिए बगैर ब्याज का लोन भी दिया जाएगा।
ITR में सुधार संभव
आयकर की घोषणा में कोई गलती है तो इसे दो साल में सुधारा जा सकता है। इसके लिए उसे अपना रिटर्न अपडेट करना होगा। इससे मुकदमेबाजी कम होगी। लोगों को 2 साल में अपनी घोषित आय में सुधार करने की अनुमति मिलेगी।
टैक्सेशन
डिजिटल करेंसी (क्रिप्टोकरंसी) से इनकम पर 30% टैक्स लगाया गया है।
कॉर्पोरेट टैक्स को 18% से घटाकर 15% किया गया है।
केंद्र सरकार के कर्मचारियों को नेशनल पेंशन स्कीम (NPS) में योगदान पर 14% तक की टैक्स राहत मिलती है, जबकि राज्य सरकार के कर्मचारियों को 10 प्रतिशत। इसमें बदलाव करते हुए राज्य सरकार को भी 14% टैक्स राहत देने का फैसला किया है। इससे राज्य सरकार के कर्मचारियों को भी केंद्र सरकार के कर्मचारियों की तरह एनपीएस में योगदान पर टैक्स छूट मिलेगी।
कॉर्पोरेट सरचार्ज 12% से घटाकर 7% किया जाएगा।
इनकम टैक्स स्लैब में कोई बदलाव नहीं किया गया है।
छूट
इलेक्ट्रॉनिक्स पर लगने वाले टैक्स में छूट मिलेगी।
रत्न और आभूषण पर कस्टम ड्यूटी घटाकर 5% कर दी गई है। नकली गहनों पर कस्टम ड्यूटी 400 रुपए प्रति किलो रहेगी।
स्टील के स्क्रैप पर कस्टम ड्यूटी एक और साल के लिए बढ़ाई जा रही है।
क्या होता है बजट: भारतीय संविधान के आर्टिकल 112 के अनुसार, केंद्रीय बजट देश का सालाना वित्तीय लेखा-जोखा होता है। सरकार बजट के जरिए वित्तीय वर्ष के लिए अपनी अनुमानित कमाई और खर्च का ब्योरा पेश करती है। बजट के जरिए सरकार यह बताती है कि आगामी वित्त वर्ष में वह अपनी कमाई की तुलना में कितना खर्च कर सकती है।