सीबीआई ने आरक्षित ई-टिकट के अवैध कारोबार पर की कार्रवाई, यूपी-दिल्ली समेत 5 राज्यों में की छापेमारी

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The Sootr
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सीबीआई ने आरक्षित ई-टिकट के अवैध कारोबार पर की कार्रवाई, यूपी-दिल्ली समेत 5 राज्यों में की छापेमारी

NEW DELHI. रेलवे के आरक्षित ई-टिकट का अवैध कारोबार जोरों पर है। रेलवे ने अवैध कारोबार को लेकर सीबीआई ने पांच राज्यों मे दबिश दी। आईआरसीटीसी के जरिए कंफर्म रेल टिकट की कालाबाजारी का आरोप है। लगातार मिल रही शिकायतों को लेकर 20 अप्रैल, गुरुवार को सीबीआई ने उत्तर प्रदेश, दिल्ली समेत 5 राज्यों में छापेमार कार्रवाई की है। कई राज्यों में सीबीआई ने छापेमार कार्रवाई की।



एजेंट पर्सनल आईडी से टिकट बनाकर करते हैं ब्लैक 



बता दें कि रेलवे नियमों के तहत इस तरीके से टिकट बेचना अवैध है, क्योंकि कमर्शियल टिकट के लिए रेलवे द्वारा अलग से एजेंट आईडी दी जाती है, जो यात्री आईडी के आधा घंटे बाद एक्टिव होती है, लेकिन कुछ एजेंट पर्सनल आईडी बनाकर यात्रियों के टाइम में टिकटें बुक करके उसे यात्रियों को ब्लैक में बेचते हैं। त्योहारी सीजन में ट्रेनों में बढ़ती भीड़ में जहां यात्रियों को कंफर्म टिकटों को लेकर मारामारी चल रही है। 



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अवैध सॉफ्टवेयर का किया जा रहा था उपयोग



जांच के दौरान यह पाया गया कि एजेंट कथित रूप से टिकट खरीदने के लिए मैन्युअल प्रविष्टि प्रक्रिया को दरकिनार करते हुए अवैध सॉफ्टवेयर का उपयोग कर रहे थे, जो यात्रियों को प्रीमियम दरों पर बेचे जाते थे। सीबीआई ने इस अवैध गतिविधि में संलिप्त एजेंटों की पहचान कर तलाशी ली। विभिन्न एजेंटों को अवैध सॉफ्टवेयर बेचने एवं वितरित करने के लिए जिम्मेदार व्यक्ति की भी पहचान की गई। इस मामले में जांच जारी है।



रेल टिकटों की कालाबाजारी करने वालों को आरपीएफ ने दबोचा 



रांची में रेल टिकटों की कालाबाजारी कर रहे दो आरोपियों को आरपीएफ रांची ने गिरफ्तार किया। गुप्त सूचना के आधार पर आरपीएफ निरीक्षक सुमन कुमार झा की अगुवाई में यह कार्रवाई की गई। आरपीएफ निरीक्षक की अगुवाई में अपराध आसूचना शाखा (रांची) और डोरंडा पुलिस के साथ संयुक्त अभियान के तहत डोरंडा के हिनू चौक स्थित शेखर इंटरप्राइजेज में छापामारी की गई। दुकान के मालिक चंद्रशेखर को 10 अवैध ई टिकटों के साथ पकड़ा गया। उसके पास तीन तत्काल ई-टिकट और सात पुराने टिकट थे। इनका मूल्य 25,000 रुपए है। पूछताछ के क्रम में उसने अपनी संलिप्तता स्वीकार की। कहा कि वह निजी फायदे के लिए व्यक्तिगत आईडी से रेल टिकटों को बनाता है। जरूरतमंदों को उचे दामों पर बेच देता है। उपरोक्त ई टिकटों और कंप्यूटर सामग्रियों को उपस्थित गवाहों के सामने जब्‍त किया गया। दोनों आरोपियों को रेल अधिनियम की धारा 143 के तहत गिरफ्तार किया गया। उचित कागजी कार्रवाई कर उक्त आरोपी को न्यायालय में पेश किया जाएगा।


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