New Delhi. केंद्र सरकार ने लोकसभा में पेश किए गए इनकम टैक्स बिल 2025 पर यू-टर्न लिया है। सरकार अब इस बिल को लेकर नए प्रस्ताव के साथ आगे बढ़ेगी। इस नए प्रस्ताव के अनुसार, कई संशोधन किए गए हैं जो सामान्य करदाताओं के लिए उपयोगी हो सकते हैं।
इस बिल के आने से पहले ही टैक्स स्लैब्स में बदलाव की बातें चल रही थीं, लेकिन इनकम टैक्स विभाग ने साफ किया है कि स्लैब में कोई बदलाव प्रस्तावित नहीं है। इस आर्टिकल में हम आपको इनकम टैक्स बिल 2025 में होने वाले संभावित बदलावों और स्लैब्स के बारे में पूरी जानकारी देंगे।
संसद में पेश किया गया बिल को वापस लेने का प्रस्ताव
संसद के मानसून सत्र का शुक्रवार को 15वां दिन था। वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने राज्यसभा में इनकम टैक्स बिल 2025 को वापस लेने का प्रस्ताव प्रस्तुत किया। यह बिल आयकर से संबंधित कानूनों को समेकित करने और उनमें सुधार करने के उद्देश्य से लाया गया था, लेकिन अब इसे वापस ले लिया गया है।
इससे पहले केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने सेलेक्ट कमिटी की रिपोर्ट के आधार पर इस बिल को वापस लेने की मंजूरी दी। उन्होंने कहा कि बिल को और भी प्रभावी बनाने के लिए यह कदम उठाया गया है। साथ ही, उन्होंने बताया कि अगले कुछ हफ्तों में नए बिल को पेश किया जाएगा।
इनकम टैक्स बिल 2025 आयकर अधिनियम 1961 का स्थान लेगा। यह कानून 6 दशकों पुराना है और समय के साथ इसमें कई बदलाव हुए हैं। इस नए बिल का उद्देश्य कर प्रणाली को सरल और पारदर्शी बनाना है। इस बिल में कई नए प्रावधान किए गए हैं, जो करदाताओं को थोड़ी राहत दे सकते हैं।
इस बिल में मुख्य ध्यान सरल भाषा में प्रावधानों को रखने और अनावश्यक कानूनों को हटाने पर दिया गया है। यह टैक्सपेयर्स के लिए प्रक्रिया को आसान बनाने का प्रयास करेगा।
स्लैब में बदलाव का क्या है मामला?
विभाग ने स्पष्ट किया है कि इस बिल में टैक्स स्लैब्स में कोई बदलाव प्रस्तावित नहीं है। लेकिन आम लोग उम्मीद लगाए बैठे थे कि टैक्स स्लैब में कुछ राहत मिल सकती है। खासतौर पर वे लोग जो मिडिल क्लास कैटेगरी में आते हैं और जिनके पास उच्च आय है, उन्हें किसी प्रकार की राहत का इंतजार था।
आयकर विभाग के अनुसार, इस बिल का मुख्य उद्देश्य कर प्रणाली को सरल बनाना है, न कि स्लैब्स में कोई बड़ा बदलाव करना। यह बदलाव सिर्फ कर की प्रक्रिया में ही दिखाई देंगे।
सेलेक्ट कमिटी ने दिए सुधार के सुझाव
2025 के इनकम टैक्स बिल को पेश किए जाने से पहले इसे सेलेक्ट कमिटी को भेजा गया था। सेलेक्ट कमिटी ने इस बिल में कुछ महत्वपूर्ण सुधारों के सुझाव दिए थे। इन सुझावों को सरकार ने स्वीकार किया है और इन बदलावों को लागू किया जाएगा।
नए बिल में क्या बदलाव हो सकते हैं?
भाषा का सरलीकरण
नए बिल में सभी कर प्रावधानों को सरल भाषा में पेश किया जाएगा, ताकि आम नागरिक भी इसे आसानी से समझ सकें।
प्रावधानों में कमी
कई अनावश्यक प्रावधानों को बिल से हटा दिया जाएगा। इससे करदाताओं को राहत मिलेगी और कर प्रक्रियाएं भी तेज होंगी।
टैक्स रिफंड का नया नियम
सेलेक्ट कमिटी ने सुझाव दिया है कि करदाताओं को आईटीआर दाखिल करने के बाद बिना पेनल्टी के टीडीएस रिफंड का दावा करने की अनुमति दी जाए।
क्या बिल में स्लैब में बदलाव होगा?
केंद्र सरकार ने यह स्पष्ट किया है कि टैक्स स्लैब में कोई बदलाव नहीं किया जाएगा। हालांकि, करदाताओं को प्रक्रिया में सरलता और पारदर्शिता मिलेगी। इससे उनकी परेशानियों को कम किया जा सकेगा।
क्या होंगे अगले कदम?
11 अगस्त 2025 को बिल पेश किया जाएगा।
सेलेक्ट कमिटी द्वारा की गई सिफारिशों को स्वीकार किया जाएगा।
इसके बाद अगले कुछ महीनों में यह नया बिल लागू हो सकता है।
विपक्ष की प्रतिक्रियाएं
विपक्ष ने इस बिल को लेकर कई सवाल उठाए हैं, खासकर स्लैब के बारे में। विपक्ष का कहना है कि सरकार को टैक्स स्लैब में बदलाव करना चाहिए ताकि आम आदमी को राहत मिल सके।