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तेजस मार्क-1A विमान
भारतीय वायुसेना को Hindustan Aeronautics Limited (HAL) से सितंबर में 2 तेजस मार्क-1A विमान मिल सकते हैं। ये नए विमान वायुसेना की ताकत को और बढ़ाएंगे, जिससे भारतीय वायुसेना की क्षमताओं में महत्वपूर्ण सुधार होगा।
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97 नए तेजस खरीदने का फैसला
सरकार HAL से 97 नए तेजस जेट (fighter jet) खरीदने का फैसला करेगी, जिससे वायुसेना की ताकत और क्षमता बढ़ेगी। इन नए विमानों से वायुसेना की तैयारियों को और मजबूत किया जाएगा।
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तेजस मार्क-1A में हथियारों का इंटीग्रेशन
तेजस मार्क-1ए विमान में अब हथियारों का इंटीग्रेशन किया गया है, जिससे यह और भी ताकतवर हो गया है। इस बदलाव से विमान की युद्ध क्षमता बढ़ेगी और यह अधिक प्रभावी तरीके से मिशन को पूरा कर सकेगा।
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2028 तक मिलेंगे 83 तेजस विमान
HAL 2028 तक भारतीय वायुसेना (Indian Air Force) को सभी 83 तेजस विमान सौंपेगा। इन विमानों की डिलीवरी समय-समय पर की जाएगी, जिससे वायुसेना की ताकत बढ़ेगी और उसे आधुनिक और सक्षम लड़ाकू विमान मिलेंगे।
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LCA मार्क-1A में महत्वपूर्ण सुधार
LCA मार्क-1A तेजस विमान में 40 महत्वपूर्ण सुधार किए गए हैं, जिससे इसका रखरखाव (मेंटेनेंस) और भी आसान हो गया है। इन सुधारों से विमान की प्रदर्शन क्षमता बेहतर होगी और वायुसेना के लिए इसे संभालना अधिक सरल हो जाएगा।
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मिग-21 विमान को रिप्लेस करेगा
तेजस मार्क-1A विमान भारतीय वायुसेना के पुराने मिग-21 विमानों को रिप्लेस करेगा। यह बदलाव वायुसेना की क्षमता को बढ़ाएगा और पुराने विमानों की जगह नई तकनीकी वाले और मजबूत तेजस विमानों को लाएगा, जिससे सुरक्षा और प्रदर्शन में सुधार होगा।
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AESA रडार और मिड-एयर रिफ्यूलिंग
नए तेजस मार्क-1A विमान में AESA रडार और मिड-एयर रिफ्यूलिंग की क्षमता है। AESA रडार की मदद से यह विमान दुश्मन के रडार से बचने में सक्षम रहेगा और बेहतर तरीके से लक्ष्य को पहचान सकेगा। मिड-एयर रिफ्यूलिंग से विमान की उड़ान की रेंज बढ़ जाएगी।
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Tejas Mark 1A (Make In India)
तेजस विमान को भारत ने खुद विकसित किया है, जो देश की आत्मनिर्भरता को दर्शाता है। यह मेक-इन-इंडिया पहल का महत्वपूर्ण हिस्सा है, जिससे भारत अपनी रक्षा जरूरतों को खुद पूरा करने की दिशा में एक बड़ा कदम बढ़ा रहा है। इस विमान के निर्माण से देश में तकनीकी क्षमता और उद्योगों को भी बढ़ावा मिलेगा।