NEW DELHI. भारत शनिवार, 2 सितंबर को अपने पहले सूर्य मिशन 'आदित्य एल1' को लॉन्च करने के लिए तैयार है। इसरो के अनुसार आदित्य-एल1 मिशन रॉकेट पीएसएलवी के माध्यम से लॉन्च किया जाएगा। इसरो के आदित्य-एल1 मिशन में सूर्य का अध्ययन किया जाएगा। शनिवार को लॉन्च किए जाने वाले इस मिशन में अंतरिक्ष यान 7 पेलोड लेकर जाएगा। भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन ने कहा कि आदित्य-एल1 मिशन शनिवार को सुबह 11.50 बजे आंध्र प्रदेश के श्रीहरिकोटा में स्थित अंतरिक्ष केंद्र के दूसरे लॉन्च पैड से प्रक्षेपित किया जाएगा। आदित्य-एल1 को पृथ्वी से 15 लाख किलोमीटर दूर लैग्रेंजियन-1 बिंदु तक पहुंचने में 125 दिन लगेंगे।
PSLV-C57/Aditya-L1 Mission:
The 23-hour 40-minute countdown leading to the launch at 11:50 Hrs. IST on September 2, 2023, has commended today at 12:10 Hrs.
The launch can be watched LIVE
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— ISRO (@isro) September 1, 2023
कहां देख सकते हैं आदित्य-एल1 मिशन की लॉन्चिंग
आदित्य-एल1 मिशन का लाइव टेलीकास्ट भी किया जाएगा। इसे आप इसरो की वेबसाइट isro.gov.in पर सुबह 11:20 से सीधा प्रसारण देख सकते हैं। साथ ही इसे " दसूत्र " के यूट्यूब चैनल पर भी देख सकते हैं। इसके लिए लिंक पर क्लिक करें...
क्या है मिशन का उद्देश्य
इसरो के इस मिशन के जरिए सूर्य की गतिविधियों को समझा जाएगा। इसरो ने कहा कि सूर्य और पृथ्वी के बीच पांच लैग्रेंजियन बिंदु हैं और होलो ऑर्बिट में एल1 बिंदु से उपग्रह सूर्य को बिना किसी बाधा और बिना किसी ग्रहण के लगातार देखकर अध्ययन किया जा सकता है। इससे सौर गतिविधियों को देखने में ज्यादा लाभ मिलेगा। इसरो ने यह भी बताया कि सूर्य का अध्ययन करके आकाशगंगा के साथ-साथ तारों के बारे में भी बहुत कुछ सीखा जा सकता है।
मंदिर जाकर इसरो चीफ ने सफलता के लिए की पूजा
आदित्य एल1 की सफलता के लिए लॉन्चिंग से पहले इसरो चीफ एस सोमनाथ शुक्रवार 1 सितंबर को सुलुरुपेटा में श्री चेंगलम्मा परमेश्वरी मंदिर जाकर पूजा-अर्चना की। बीती 23 अगस्त इसरो के चंद्रयान-3 मिशन ने इतिहास रचते हुए चांद के साउथ पोल पर सफल लैंडिंग की थी। इसी के साथ चांद के इस हिस्से पर पहुंचने वाला भारत पहला देश बना।