NEW DELHI. पीएम नरेंद्र मोदी के नेतृत्व वाली केंद्र सरकार ने सत्ता के अपने नौ साल पूरे कर लिए है। 26 मई साल 2014 को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने देश के लोकतंत्र का सर्वोच्च पद संभाला था। साल 2014 में मोदी लहर पर सवार होकर बीजेपी ने प्रचंड बहुमत हासिल किया था।
इसके बाद फिर साल 2019 में हुए लोकसभा चुनाव में भी मोदी लहर ने विपक्षी दलों की जड़ों को हिला कर रख दिया। इस बार कई दिग्गज मोदी के नाम के सामने तिनके की तरह बिखर गए। बीजेपी ने इस चुनाव में ऐतिहासिक जीत दर्ज करते हुए नरेंद्र मोदी के चहरे पर 3030 सीटें जीतकर एक रिकॉर्ड कायन किया। NDA ने सत्ता के 9 साल पूरे कर लिए हैं। इन 9 सालों में नरेंद्र मोदी ने जनता के भले के लिए स्वच्छ भारत अभियान से लेकर जनधन योजना, हर भारतीय परिवार को पक्का घर से लेकर हर एक घर को पेयजल की सुविधा जैसी कई योजनाओं की शुरुआत की थी। मौजूदा सरकार ने इन घोषणाओं और योजनाओं को पूरा करने के लिए एक टाइम लिमिट तय की थी। अब सवाल उठता है कि क्या पीएम मोदी ने इन योजनाओं को लेकर जो लक्ष्य निर्धारित किया था, वह पूरा हो सके हैं या अब भी अधूरे हैं, इस तरह के तमाम सवालों के जवाब आपको हम आगे देने की कोशिश करेंगे।
जनता से किए गए पीएम मोदी के 5 बड़े वादे
1. हर परिवार को पक्का घर: प्रधानमंत्री आवास योजना एक महत्वपूर्ण योजना है, केंद्र सरकार की इन योजनाओं में आवास योजना को महत्वाकांक्षी योजना माना जाता रहा है। इसके तहत गरीबी रेखा से नीचे जीवन यापन करने वाले परिवारों को को सरकार की तरफ से घर उपलब्ध कराए जाने का प्रावधान था। पीएम मोदी ने 'प्रधानमंत्री आवास योजना' को साल 2015 में शुरू किया गया था, योजना का मुख्य उद्देश्य साल 2022 तक भारत के हर परिवार को ग्रामीण और शहर में पक्का घर देना था। हालांकि तय किए गए समय तक लक्ष्य पूरा नहीं हो पाने के योजना की अवधि को साल 2024 तक बढ़ा दिया गया। साल 2021 में केंद्रीय मंत्री अनुराग ठाकुर ने प्रधानमंत्री की अगुवाई में हुए मंत्रिमंडल की बैठक में बताया कि इस योजना को लॉन्च करते समय ग्रामीण भारत में 2.95 करोड़ पक्का घर बनाने का लक्ष्य तय किया गया था, लेकिन अब तक यानी साल 2021 तक केवल 1.65 करोड़ घर ही बनाए गए हैं।
2. हर घर को 24 घंटे बिजली की उपलब्धता: सबको पक्का घर दिलाने के ऐलान की ही तरह सितंबर 2015 में पीएम मोदी ने कहा था कि साल 2022 भारत के हर घर को 24 घंटे बिजली मिलने लगेगी। सरकार की इस घोषणा की समय सीमा भी पूरी हो चुकी है लेकिन अभी तक भारत के सभी घरों को 24 घंटे बिजली नहीं मिल पाई है। 24 घंटे बिजली मिलना तो दूर कई गांव ऐसे भी हैं, जहां आज तक बिजली नहीं पहुंच पाई है।
3. 5 ट्रिलियन डॉलर की अर्थव्यवस्था: सितंबर 2018 में देश के प्रधानमंत्री ने कहा था कि आने वाले चार साल तक यानी साल 2022 तक भारत 5 ट्रिलियन डॉलर (पांच खरब डॉलर) की अर्थव्यवस्था वाला देश होगा। पीएम मोदी की इस घोषणा को कई बीजेपी नेताओं ने सार्वजनिक मंच और चुनावी रैलियों में भी दोहराया है। संबित पात्रा तो इस 5 ट्रिलियन अर्थवय्वस्था के चक्कर में कांग्रेस प्रवक्ता गौरव वल्लभ के हाथों एक टीवी डिबेट में ट्रोल के भी शिकार हो गए थे। लेकिन भारत आज भी अपने इस लक्ष्य से काफी पीछे हैं। साल 2022 खत्म हो गया और इस साल भारत की अर्थव्यवस्था पांच खरब डॉलर होने वाला लक्ष्य भी पूरा नहीं हो सका। देश की अर्थव्यवस्था वर्तमान में लगभग तीन खरब डॉलर पर अटकी हुई है।
4. किसानों की आय होगी दोगुनी: साल 2017 में भारत के प्रधानमंत्री ने कहा था कि साल 2022 तक देश के सभी किसानों की आय दोगुनी हो जाएगी। केंद्र सरकार ने इस बात को साल 2021 तक केंद्र सरकार के हर वार्षिक बजट में दोहराई थी। अब केंद्र सरकार द्वारा निर्धारित किया हुआ समय खत्म हो गया है लेकिन किसानों की आय दोगुनी नहीं हुई। साल 2023-24 के केंद्रीय बजट में किसानों का बजट अनुमान पिछले साल से कम कर दिया गया है। यानी साल 2023-24 में कृषि बजट 1.24 लाख करोड़ था जिसे घटाकर 1.15 करोड़ के आसपास कर दिया गया है। पिछले साल की तुलना में फसल बीमा योजना का आवंटन भी 15,500 करोड़ से कम कर के 13,625 करोड़ रुपए कर दिया गया है। इसके अलावा खाद पर मिलने वाली सब्सिडी में भी भारी कटौती की गई है।
5. बुलेट ट्रेन आएगी: तारीख थी 14 सितंबर 2017 की जब पीएम नरेंद्र मोदी ने जापान के तत्कालीन प्रधानमंत्री शिंजो आबे के साथ गुजरात के अहमदाबाद में मुंबई से अहमदाबाद के बीच अपनी महत्वाकांक्षी बुलेट ट्रेन प्रोजेक्ट की आधारशिला रखी थी। उस वक्त मोदी सरकार ने कहा था कि देश जब 15 अगस्त 2022 को 75वां स्वतंत्रता दिवस मना रहा होगा उस वक्त देश की पहली बुलेट ट्रेन पटरी पर दौड़ने लगेगी। अब साल 2022 खत्म हो चुका है लेकिन भारत में बुलेट ट्रेन कब तक दौड़ेगी इसे लेकर अब तक संशय की स्थिति बनी हुई थी। हाल ही में रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने कहा था कि 2026 के अगस्त महीने से देश की पहली बुलेट ट्रेन पटरी पर दौड़ने लगेगी।
कांग्रेस ने उठाए सवाल
सत्ता में रहते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अपनी कामयाबियां गिनाने की कोशिश की तो विपक्षी पार्टियां उस पर हमलावर हो गईं। दरअसल हाल ही में बीजेपी ने सोशल मीडिया पर अपनी कामयाबियों की लिस्ट पोस्ट की थी। कांग्रेस ने पलटवार करते हुए बीजेपी पर नौ सवाल दाग दिए। कांग्रेस ने ये 9 सवाल सोशल मीडिया पर ही नहीं बल्कि देश के 24 से ज्यादा शहरों में प्रेस कॉन्फ्रेंस कर बीजेपी सरकार से पूछे। कांग्रेस ने ट्वीट करते हुए कहा, 'देश के 28 शहरों में प्रेस कॉन्फ्रेंस आयोजित कर नौ साल से सत्ता में रही मोदी सरकार की बीते नौ सालों की नौ नाकामयाबियां जनता के सामने रखी गईं। हम हमेशा लोगों की आवाज उठाते रहेंगे। हम संविधान के लिए लड़ते रहेंगे और सरकार को जिम्मेदार ठहराएंगे।"
9 साल में मोदी के लिए गए 9 बड़े फैसले
- साल 2014 में स्वच्छ भारत अभियान की शुरुआत की थी।
कई वादों पर विफल रही मोदी सरकार: कांग्रेस
कांग्रेस ने कहा कि 'वर्तमान तस्वीर के मुताबित मोदी सरकार ने काला धन वापस लाने, हर साल 2 करोड़ रोजगार पैदा करने, हर व्यक्ति के खाते में 15 लाख रुपए लाने, 100 स्मार्ट सिटी बनाने, बुलेट ट्रेन शुरू करने, सबको पक्का घर देने, हर परिवार को 24 घंटे बिजली देने, अर्थव्यवस्था को 5 ट्रिलियन का बनाने और किसानों की आय दोगुनी करने का वादा किया था, लेकिन सरकार इन नौ वादों को पूरा नहीं कर पाई।"
कांग्रेस के आरोपों पर बीजेपी ने गिनवाई सरकार की उपलब्धियां
- बीजेपी ने बताया कि यूपीए की सरकार में देश की औसत महंगाई दर 8.7 फीसदी थी, अब एनडीए के दौर में 4.8 फीसदी है।