14 अप्रैल 2025 से खरमास का समापन हो रहा है और इस दिन से शुभ कार्यों की शुरुआत हो जाएगी। सूर्य देव के मेष राशि में प्रवेश करने के साथ ही मेष संक्रांति मनाई जाएगी, जो सभी प्रकार के शुभ कार्यों के लिए आदर्श समय मानी जाती है। इस दिन से विवाह और अन्य महत्वपूर्ण धार्मिक कार्यों का आरंभ हो सकता है, क्योंकि ज्योतिष के मुताबिक यह समय खासतौर पर शुभ होता है।
विवाह के लिए अप्रैल 2025 का माह बहुत ही शुभ साबित होने वाला है। इस महीने में कई महत्वपूर्ण तिथियां हैं, जो शुभ विवाह के लिए आदर्श मानी जाती हैं।
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अप्रैल
माह में विवाह मुहूर्त
ज्योतिषों के मुताबिक अप्रैल माह में विवाह मुहूर्त हैं...
- 14 अप्रैल: वैशाख माह के कृष्ण पक्ष की द्वितीया तिथि, स्वाति नक्षत्र और शिववास योग का संयोग है। यह दिन विवाह के लिए अत्यंत शुभ है।
- 16 अप्रैल: वैशाख माह के कृष्ण पक्ष की तृतीया और चतुर्थी तिथि, अनुराधा सर्वार्थ सिद्धि और अमृत सिद्धि योग का संयोग है।
- 18 अप्रैल: वैशाख माह के कृष्ण पक्ष की पंचमी और षष्ठी तिथि, मूल नक्षत्र और परिघ योग का संयोग।
- 19 अप्रैल: वैशाख माह के कृष्ण पक्ष की षष्ठी और सप्तमी तिथि, मूल और पूर्वाषाढ़ा नक्षत्र तथा शिव योग का संयोग है।
- 20 अप्रैल: वैशाख माह के कृष्ण पक्ष की सप्तमी और अष्टमी तिथि, पूर्वाषाढ़ा और उत्तराषाढ़ा नक्षत्र और सिद्ध योग का संयोग है।
- 21 अप्रैल: वैशाख माह के कृष्ण पक्ष की अष्टमी और नवमी तिथि, उत्तराषाढ़ा और श्रवण नक्षत्र तथा साध्य और शुभ योग का संयोग है।
- 25 अप्रैल: वैशाख माह के कृष्ण पक्ष की द्वादशी और त्रयोदशी तिथि, पूर्वाभाद्रपद और उत्तराभाद्रपद नक्षत्र और इंद्र योग का संयोग है।
- 29 अप्रैल: वैशाख माह के शुक्ल पक्ष की द्वितीया और तृतीया तिथि, रोहिणी नक्षत्र और शोभन योग का संयोग है।
- 30 अप्रैल: वैशाख माह के शुक्ल पक्ष की तृतीया और चतुर्थी तिथि, रोहिणी और मृगशिरा नक्षत्र और सर्वार्थ सिद्धि योग का संयोग है।
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क्यों हैं ये तिथियां जरूरी
ज्योतिषों के मुताबिक, विवाह के लिए इन तिथियों का चयन खास ध्यान से किया जाता है, क्योंकि ज्योतिष में इन तिथियों और योगों को शुभ माना जाता है। सूर्य देव का राशि परिवर्तन, विभिन्न नक्षत्रों और योगों का संयोग शुभ कार्यों को प्रेरित करता है। खासतौर पर स्वाति नक्षत्र, शिववास योग और सर्वार्थ सिद्धि योग जैसी तिथियां विवाह के लिए सबसे शुभ मानी जाती हैं।
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विवाह मुहूर्त का महत्व
ज्योतिषों के मुताबिक, शादी का मुहूर्त न केवल पारिवारिक शांति के लिए, बल्कि जीवन भर के रिश्ते को मजबूत बनाने के लिए भी सबसे ज्यादा जरूरी है। इन शुभ तिथियों पर विवाह करने से जीवन में सुख, समृद्धि और समर्पण की भावना बढ़ती है।
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