यूपी में इंडिया गठबंधन ने कमाल कर दिया है। सरकार बनाने के लिए विपक्ष अभी बहुमत भले नहीं जुटा पाया है, लेकिन कांग्रेस की 'गारंटी' ने मानो जादू किया है।
नहीं समझे आप...चलिए बताते हैं। क्या है कि लोकसभा चुनाव में कांग्रेस ने अपने घोषणा पत्र में गारंटी कार्ड जारी किया था। कार्ड में महिलाओं को एक लाख रुपए देने की घोषणा की गई थी। नतीजे आने के बाद बुधवार यानी 5 जून को सुबह लखनऊ में प्रदेश कांग्रेस मुख्यालय के बाहर बड़ी संख्या में महिलाएं गारंटी कार्ड लेकर पहुंच गईं।
चिलचिलाती धूप में कांग्रेस दफ्तर के बाहर कतार में खड़ीं मुस्लिम महिलाएं अपने खाते में पैसे के आने का इंतजार कर रही थीं। महिलाओं का कहना था कि कांग्रेस ने अपने चुनावी घोषणा पत्र में गारंटी कार्ड जारी कर 1-1 लाख रुपए देने का वादा किया था, जिसे लेने हम आए हैं। महिलाओं का आरोप था कि कांग्रेस मुख्यालय के भीतर उन्हें जाने नहीं दिया जा रहा है।
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क्या है योजना
कांग्रेस ने 25 गारंटियों के साथ 'घर घर गारंटी' कार्यक्रम शुरू किया था। इनमें महालक्ष्मी योजना भी शामिल थी, जिसके तहत गरीबी रेखा से नीचे (बीपीएल) रहने वाले परिवारों की महिला मुखियाओं के खातों में सीधे 8 हजार 500 रुपए प्रति माह देने का वादा किया गया था। यह योजना कर्नाटक की कांग्रेस के नेतृत्व वाली गृह लक्ष्मी योजना के समान है, जिसके तहत गरीब परिवारों की महिला मुखियाओं को 2 हजार रुपए दिए जाते हैं।
कांग्रेस बोली— आगे होगा फैसला
कांग्रेस ने चुनाव के पहले गारंटी कार्ड जारी किया था, जिसमें सरकार बनने के बाद एक लाख देने की बात कही गई थी। चुनाव से पहले बड़ी संख्या में यह कार्ड लोगों को बांटे भी गए थे। आज सुबह जब महिलाएं पहुंचीं तो कार्यालय पर मौजूद कर्मचारी ने कुछ महिलाओं को कार्ड वितरण भी किया, मगर अभी इस पर आगे फैसला किया जाएगा।
महिलाओं को समझाया कैसे जाए, यह संकट
कुल मिलाकर कांग्रेस की घोषणा के बाद जब से परिणाम आए हैं। लोगों में गारंटी कार्ड को लेकर चर्चाएं हो रही हैं। अब कांग्रेस के सामने भी मुश्किल है कि सरकार तो बन नहीं रही है, ऐसे में चुनाव से पहले गारंटी कार्ड की घोषणा को लेकर जनता को कैसे समझाया जाए।Congress guarantee card | congress ki guarantee not present in content
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