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Damoh. सांप चाहे जिंदा हो या मरा उससे डर तो दोनो ही परिस्थितियों में लगता है उसे देखकर ही लोगों की सांस हलक में अटक जाती है। इसी तरह का नजारा मंगलवार की रात जिला अस्पताल में देखने मिला। जब सर्पदंश की शिकार पीड़ित महिला के परिजन अपने साथ मरा हुआ सांप लेकर आए थे जो एक डिब्बे में था। यह नजारा देख लोग हैरान जरूर हो गए। महिला का इलाज अस्पताल में जारी है।
यह है पूरा मामला
दमोह जिले के बटियागढ़ थाना क्षेत्र अंतर्गत आने वाले निबोरा पिपरिया गांव में मंगलवार की देर रात घर पर सोते समय एक महिला ललता बाई को सर्प ने डस लिया। महिला की चीख पुकार सुनकर घर एवं पड़ोस के लोग पहुंचे तो देखा घर के बाहर एक काला सांप जा रहा था। जिसे परिजनों के द्वारा मार कर एक डिब्बे में रख लिया और महिला को गंभीर हालत में इलाज के लिए जिला अस्पताल लेकर आए साथ ही अपने साथ वह मरा सांप भी ले आए ताकि डाक्टर को बताया जा सके की इस सांप ने महिला को डसा है। डाक्टर के द्वारा महिला का इलाज शुरू किया गया और सांप के शव को यहां से ले जाने के लिए कहा गया। जिसके बाद परिजनों ने उसे अस्पताल से अलग कर दिया।
बारिश के मौसम में बड़ जाते हैं सर्प दंश के मामले
बारिश के दिनों में सर्पदंश की घटनाएं बढ़ जाती हैं। क्योंकि उमस और तेज बारिश दोनों ही स्थितियों में सर्प सुरक्षित स्थानों की ओर भागते हैं, लेकिन इस दौरान इंसानों से उनका सामना हो जाता भी हो जाता है। जिससे सर्प को यदि धोखे से भी चोट लग जाए तो वह अपने बचाव में इंसानों पर हमला कर देता है।
हर सांप में होता है अलग जहर, हर जहर का अलग होता है वेनम
डॉक्टरों की मानें तो यदि उन्हें यह पता रहे कि सर्पदंश के शिकार को किस सांप ने काटा है तो मरीज की जान बचाने में सहूलियत रहती है। क्योंकि हर प्रजाति के सांप में अलग प्रकार का जहर होता है और हर प्रकार के जहर के वेनम के भी अगल-अलग प्रकार होते हैं। यदि डॉक्टर को यह पता रहे कि मरीज को किस सांप ने काटा है तो तत्काल उसे अमुक वेनम दे दिया जाता है लेकिन यदि सांप की प्रजाति का पता न हो तो इलाज की प्रक्रिया भी लंबी हो जाती है।