Bhopal. मध्यप्रदेश में बहुत जल्द गर्मी से राहत मिलने वाली है। जिस बारिश का लोगों को लंबे समय से इंतजार था वो अब खत्म होने जा रहा है। बंगाल की खाड़ी से आ रही नम हवाओं के कारण बुधवार से मध्य प्रदेश में कहीं-कहीं मानसून पूर्व की गतिविधियां शुरू हो गई हैं। मौसम वैज्ञानिकों के मुताबिक आज (9 जून) को इंदौर संभाग के जिलों में गरज-चमक के साथ बौछारें पड़ सकती हैं। तो वहीं शुक्रवार (10 जून) को भोपाल, इंदौर, नर्मदापुरम, जबलपुर संभागों के जिलों में भी बौछारें पड़ने की संभावना है। इससे अधिकतम तापमान में गिरावट होने लगेगी। उधर बुधवार (8 जून) को सुबह साढ़े 8 बजे से शाम साढ़े 6 बजे तक इंदौर में बौछारें पड़ी जिससे इंदौरवासियों ने भीषण गर्मी से राहत की सांस ली। प्रदेश में सबसे ज्यादा 45 डिग्री सेल्सियस तापमान ग्वालियर और दमोह में दर्ज किया गया।
मौसम विज्ञान केंद्र के मौसम विभाग के अनुसार हवाओं में नमी की कमी से मौसम शुष्क बना हुआ था। इस वजह से राजधानी सहित पूरे प्रदेश में भीषण गर्मी पड़ रही है। हालांकि अब बंगाल की खाड़ी से चला मानसून आगे बढ़ने लगा है। अरब सागर में भी मानसूनी हलचल बढ़ी है। इससे प्रदेश में मानसून पूर्व की गतिविधियों की शुरुआत होने लगी है। शुक्रवार को प्रदेश में कई जिलों में गरज-चमक के साथ बौछारें पड़ने की संभावना है। मौसम विभाग ने अगले 24 घंटे को लेकर छतरपुर, दमोह, निवाड़ी, राजगढ़, भिंड, ग्वालियर और दतिया में लू चलने का अलर्ट जारी किया है।
मौसम विज्ञान केंद्र के मुताबिक वर्तमान में एक पश्चिमी विक्षोभ हिमाचल प्रदेश पर हवा के ऊपरी भाग में चक्रवात के रूप में बना हुआ है। उत्तर प्रदेश के मध्य में हवा के ऊपरी भाग में एक चक्रवात बना हुआ है। इस चक्रवात से लेकर एक ट्रफ लाइन पूर्वी मप्र से होकर तेलंगाना तक बनी हुई है। इसी चक्रवात से एक अन्य ट्रफ लाइन उत्तरी बांग्लादेश तक बनी हुई है। दक्षिण-पश्चिम मानसून बंगाल की खाड़ी में कुछ आगे बढ़ा है। उधर अरब सागर में भी अब मानसून हलचल बढ़ने लगी है। इससे हवाओं के साथ कुछ नमी आने लगी है, जिसके चलते अब तापमान में धीरे-धीरे गिरावट होने के आसार हैं। बंगाल की खाड़ी में मानसून की मौजूदा प्रगति को देखते हुए मानसून के 20 जून के आसपास जबलपुर संभाग के रास्ते मध्यप्रदेश में प्रवेश करने की संभावना दिख रही है।