Jabalpur. गायों का काल माना जाने वाला लंपी वायरस मध्यप्रदेश में दस्तक दे चुका है। वहीं जबलपुर जिले में भी हाल ही में 3 गोवंश में लंपी वायरस के लक्षण दिखाई दिए हैं। जिन्हें पशुपालन विभाग ने कोरंटाइन कराकर उपचार शुरू कर दिया है। तीनों गोवंश के सैंपल लेकर संभागीय प्रयोगशाला के मार्फत हाईसिक्योरिटी लैब भोपाल भिजवाए गए हैं। जहां से रिपोर्ट आना लंबित है, जिसमें 15 दिन का समय लगता है।
सिहोरा, बरेला और ग्वारीघाट में मिले लक्षण
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पशुपालन विभाग को लंपी वायरस के लक्षण वाले गोवंश बरेला की ढूंडी गांव, सिहोरा और जबलपुर के ग्वारीघाट क्षेत्र के गोवंश में मिले हैं। इन सभी इलाकों के पशुपालकों को विभाग द्वारा सचेत किया जा चुका है। वहीं जिले की 38 गौशालाओं में गोटा वेक्सीन के डोज लगने शुरू हो चुके हैं। जिले की सभी गौशालाओं के करीब 8 हजार मवेशियों को यह वैक्सीन लगाए जाऐंगे।
रिपोर्ट भले ही लंबित, पर पूरे किया जा रहा प्रोटोकॉल
पशुपालन विभाग के उपसंचालक पशु चिकित्सा सेवा डॉ एस के वाजपेयी ने बताया कि जहां-जहां लंपी वायरस के लक्षण मिले हैं उनकी रिपोर्ट भले ही लंबित हो पर ऐसे स्थानों पर लंपी वायरस की रोकथाम के तमाम प्रोटोकॉल का पालन अभी से शुरू कर दिया गया है। ताकि जानवरों के लिए बेहद घातक इस वायरस को फैलने से रोका जा सके। इसके लिए विभाग ने 50 हजार रुपए के फंड से वैक्सीन मंगवाई है। सोमवार से समस्त गौशालाओं में वैक्सीन लगना भी प्रारंभ हो चुका है। वहीं जिन गोवंश में लंपी के लक्षण मिले हैं उन्हें अलग-थलग कर उनका इलाज भी किया जा रहा है। इलाज के चलते उक्त गोवंश में सुधार भी देखा जाने लगा है।
बालाघाट और नरसिंहपुर में भी लंपी के लक्षण
वहीं जबलपुर संभाग की बात की जाए तो जबलपुर जिले के अलावा बालाघाट और नरसिंहपुर जिले से भी लंपी के लक्षण वाले गोवंश को चिन्हित कर लिया गया है। बता दें कि पशुपालन विभाग को बालाघाट जिले में 2 और नरसिंहपुर जिले में लंपी के लक्षण वाला एक गोवंश मिला है। जिसके सैंपल कलेक्ट कर भोपाल भिजवाए गए हैं, साथ ही वैक्सीनेशन के साथ-साथ प्रिकॉशन के तौर पर समस्त प्रोटोकॉल का पालन किया जा रहा है।